Posted on 14 Dec, 2016 5:25 pm

भोपाल : बुधवार, दिसम्बर 14, 2016, 16:26 IST
 

वित्त मंत्री श्री जयंत मलैया ने कहा है कि भारत की अर्थ-व्यवस्था की मजबूती के लिये कैशलेस सिस्टम बनाना बहुत जरूरी है। इसके लिये प्रदेश में सभी सरकारी विभाग और बैंकर्स को मिलकर काम करना होगा। उन्होंने कहा कि इसे लोकप्रिय बनाने के लिये ग्राम पंचायत स्तर तक प्रयास किये जायेंगे। वित्त मंत्री श्री मलैया आज भोपाल में कैशलेस ट्रांजेक्शन के लिये गठित टास्क फोर्स कमेटी की बैठक को संबोधित कर रहे थे। बैठक में महिला-बाल विकास मंत्री श्रीमती अर्चना चिटनिस, सहकारिता राज्य मंत्री श्री विश्वास सारंग और वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।

वित्त मंत्री श्री मलैया ने कहा कि प्रदेश में अपर मुख्य सचिव वन तथा योजना, आर्थिक और सांख्यिकी की अध्यक्षता में समिति गठित की गयी है। समिति में सहकारिता, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, आयुक्त संचालनालय संस्थागत वित्त, महाप्रबंधक सेंट्रल बैंक ऑफ इण्डिया और भारतीय स्टेट बैंक के प्रतिनिधि को शामिल किया गया है। वित्त मंत्री ने कहा कि कैशलेस ट्रांजेक्शन के लिये हिन्दी का उपयोग किया जाना चाहिये और इसके लिये व्यापक स्तर पर प्रशिक्षण दिये जाने की जरूरत है।

महिला-बाल विकास मंत्री श्रीमती अर्चना चिटनिस ने कहा कि आधी आबादी महिलाओं की है। कैशलेस को सफल बनाने के लिये उन्हें बुनियादी प्रशिक्षण दिये जाने की जरूरत है। श्रीमती अर्चना चिटनिस ने बताया कि कैशलेस लेन-देन को लोकप्रिय बनाने के लिये महिला-बाल विकास विभाग ने ई-लक्ष्मी योजना तैयार की है। इस योजना में राज्य से विकासखण्ड स्तर तक शिविर लगाये जायेंगे। महिलाओं को बचत की आदत के लिये और प्रोत्साहित किया जायेगा। सहकारिता राज्य मंत्री श्री विश्वास सारंग ने बताया कि सहकारिता के जरिये किसानों और संस्थाओं में कैशलेस लेन-देन की जानकारी देने के लिये शिविर लगाने के कार्यक्रम तय कर लिये गये हैं। पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री आर.एस. जुलानिया ने बताया कि 25 दिसम्बर के बाद 313 विकासखण्ड स्तर पर योजना के हितग्राहियों के प्रशिक्षण शिविर लगाये जायेंगे। उन्होंने कहा कि प्रशिक्षण के पहले विकासखण्ड पर तैनात बैंक कर्मियों को कैशलेस लेन-देन और इसके सिस्टम की पर्याप्त जानकारी दी जाये।

बैठक में बताया गया कि 26 नवम्बर के बाद से असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के बैंक में खाता खुलवाने के लिये 3771 शिविर लगाये जा चुके हैं। सभी बचत खातों को आधार नम्बर से लिंक किये जाने के लिये भी प्रयास किये जा रहे हैं। प्रदेश में प्रधानमंत्री जन-धन योजना के खातों की संख्या 2.25 करोड़ है। इनमें से एक करोड़ 31 लाख खातों को आधार सीडिंग किया जा चुका है। बैठक में राज्य-स्तरीय बैंकर्स समिति के संयोजक श्री अजय व्यास ने बैंकों की ओर से कैशलेस ट्रांजेक्शन के लिये किये जा रहे कार्यों की जानकारी दी।

 

साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश