Posted on 03 Jun, 2016 7:39 pm

मुख्य सचिव श्री अन्‍टोनी डिसा ने वर्षा ऋतु के आगमन को देखते हुए प्रदेश में बाढ़ और अति वृष्टि की स्थिति में जन-धन की हानि के बचाव के लिए बरती जाने वाली सावधानियों और उपायों के संबंध में की गयी तैयारियों की संबंधित विभागों की राज्य स्तरीय समिति की बैठक में समीक्षा की।

मुख्य सचिव ने कहा कि वर्षा के पहले अनुमान तथा बाढ़ संबंधी सूचनाओं की जानकारी संबंधित विभाग के अधिकारियों और जिलों तक त्वरित गति से पहुँचाने और आपसी समन्वय के लिए सूचना प्रौद्योगिकी के अद्यतन संसाधनों का उपयोग किया जाए। उन्होंने ई-मेल तथा वाटस एप से सतत संपर्क में रहने के निर्देश दिए। बैठक में बताया गया कि भोपाल स्थित डाप्लर राडार से प्राप्त होने वाली जानकारी मौसम विभाग की वेबसाइट पर सतत रुप से उपलब्ध रहती है। कलर डाप्लर के संबंध में विस्तृत जानकारी देने के लिए मौसम विभाग द्वारा 10 जून को वीडियो कान्फ्रेंसिंग की जायेगी। मौसम विभाग पूर्वानुमान एवं वर्षा की स्थिति की जानकारी प्रतिदिन संबंधित विभागों को उपलब्ध करवाएगा। मौसम विभाग प्रदेश में 18 जून तक मानसून की आमद और 30 जून तक पूरे प्रदेश में विस्तार का अनुमान है।

मुख्य सचिव ने जल संसाधन विभाग तथा नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण के अधिकारियों को निर्देश दिए कि बाँधों से पानी छोड़ते समय संबंधित जिला प्रशासन से समन्वय और सूचना प्रेषण की पुख्ता व्यवस्था स्थापित की जाए। पुल-पुलिया मरम्मत, रेल तथा सड़क यातायात बनाए रखने, खतरनाक पुलों पर चेतावनी बोर्ड लगाने, नगरीय क्षेत्रों के नाले-नालियों की सफाई, पेयजल स्त्रोतों की व्यवस्था बनाए रखने, बाढ़ संभावित क्षेत्रों में चिकित्सा सुविधा और दवाइयों की उपलब्धता बनाये रखने की व्यवस्था की समीक्षा भी की गई।

पुलिस, होमगार्डस, सेना द्वारा आपदा प्रबंधन और बचाव के लिए की गई तैयारियों की जानकारी दी गयी। बैठक में राज्य शासन के सभी प्रमुख विभाग के अधिकारियों के साथ-साथ रेल्‍वे, सेना, मौसम विभाग, केंद्रीय जल आयोग के अधिकारी उपस्थित थे।

साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश 

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