Posted on 24 Jul, 2018 12:39 pm

 

खंडवा जिले के पंधाना विकास खंड के आरूद ग्राम के निवासी चन्द्रहास बराड़े गाँव के समृद्ध किसानों में शुमार होते हैं। चन्द्रहास बताते है कि कुछ समय पहले वह कर्जदार हुआ करते थे। जब से उन्होंने पपीते की खेती शुरू की है तब से वह लखपति बन गये।

चन्द्रहास ने शुरूआत में एक एकड़ खेत में पपीता लगाया। इस पर कुल लागत 40 हजार रुपये आई और पपीते की पैदावार से 3 लाख रुपये की आय हुई। खेती का खर्चा निकालकर 2 लाख 40 हजार रुपये की बचत हुई। इससे उत्साहित होकर चन्द्रहास ने 3 एकड़ खेत में पपीते की और फसल लगाई। अन्तवर्ती फसल पद्धति को अपनाते हुए चन्द्रहास ने पपीते के साथ संतरा और खीरा भी लगाया। इससे उत्पादन दोगुना हो गया।

चन्द्रहास ने बताया कि परम्परागत खेती जिसमें गेहूँ, चना की फसल लेते थे। उसकी तुलना में पपीता और संतरा आदि की फसल से कई गुना ज्यादा मुनाफा हो रहा है। चन्द्रहास का परिवार खुशहाल है और अब वह कर्जा लेता नहीं है बल्कि जरूरत पर दूसरों की आर्थिक मदद भी कर देता है।

 

 

 

साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश