Posted on 07 Sep, 2018 5:48 pm

 

प्रधानमंत्री उज्जवला योजना से प्रदेश की गरीब महिलाओं कि जिंदगी खुशगवार बन गई है। महिलाएं खुश है कि अब उन्हें ना सिर्फ चूल्हे के धुँए और लकड़ी बिनने की झंझट से छुटकारा मिला है बल्कि उनके समय और मेहनत की बचत होने लगी है।

जबलपुर जिले की रम्मोबाई गोंड नि:शुल्क गैस कनेक्शन और गैस चूल्हा पाकर बहुत खुश है। कहती है कि कंडा-लकड़ी से मिट्टी के चूल्हे पर खाना बनाने में बहुत कठिनाई होती थी। बर्तन के तले जल जाते थे। धुँए से खाँसी आती थी। घर की दीवारों पर भी कालिख जमा हो जाती थी। अब गैस चूल्हे पर खाना बनाना आसान और सुविधाजनक हो गया है।

मुरैना जिले की राजाबेटी को शहरी विकास हितग्राही सम्मेलन में स्वास्थ्य मंत्री श्री रूस्तम सिंह ने जब गैस चूल्हा सौपा, तो उसकी खुशी का ठिकाना नहीं था। राजाबेटी कहती है कि बरसात के समय गिली लकड़ी को चूल्हे में जलाने में उसे बहुत परेशानी होती थी। चूल्हे के धुएँ से हमेशा सिर दर्द बना रहता था। प्रधानमंत्री उज्जवला योजना राजाबेटी के परिवार के लिये भी सुख-सुविधा का सशक्त साधन बनी है।

नरसिंहपुर जिले की वर्षा ठाकुर चूल्हे में लकड़ी और कंडे जलाने से घर में हो रहे धुएँ से परेशान थी। उसके स्वास्थ और आँखों पर इसका बुरा असर हो रहा था। नि:शुल्क गैस कनेक्शन और चूल्हा मिलने से उसे अब बहुत आराम हो गया है। वर्षा को इस योजना से भोजन बनाने में होने वाले धुँए की झंझट से छुटकारा मिला है।

ग्वालियर जिले की सुनीता इमले का कहना है कि चूल्हे पर खाना  बनाते समय आँखों से निकलने वाले आँसू प्रधानमंत्री उज्जवला योजना से मिले गैस चूल्हे पर खाना बनाते समय अब खुशी के आँसू में बदल गए हैं। रोज-रोज की लकड़ी-कण्डे की समस्या से पीछा छूट गया है। अब ना धुएँ की परेशानी है और ना ही बर्तन काले होने का डर है। घर का काम भी झटपट हो जाता है।

सक्सेस स्टोरी (जबलपुर,मुरैना,नरसिंहपुर,ग्वालियर)

साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश​​

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