Posted on 20 Dec, 2016 8:23 pm

भोपाल : मंगलवार, दिसम्बर 20, 2016, 19:00 IST
 

प्रदेश के 378 नगरीय निकाय में पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटलबिहारी वाजपेयी के जन्म-दिवस 25 दिसम्बर से नगर उदय अभियान चलाया जायेगा। तीन चरण में चलने वाले इस अभियान का 5 फरवरी को समापन होगा। पहला चरण 25 से 28 दिसम्बर, दूसरा चरण 3 से 15 जनवरी, 2017 तथा तीसरा चरण 20 जनवरी से 5 फरवरी तक चलेगा।

नगर उदय अभियान का मूल उद्देश्य नागरिकों को उपलब्ध करवायी जा रही सेवाओं का मूल्यांकन तथा उसे मानक-स्तर तक ले जाना, नगरीय क्षेत्र में मलिन बस्ती में निवास करने वाले निम्न आय वर्ग के नागरिकों तक जन-कल्याणकारी योजनाओं की जानकारी और अंत्योदय का लाभ पहुँचाना, नगरीय विकास की दिशा में किये गये कार्यों से अवगत करवाना तथा नगर विकास की योजना में नागरिकों तथा अन्य संस्थाओं की भागीदारी सुनिश्चित करना है।

अभियान के प्रथम चरण में विभिन्न विभाग के अधिकारी-कर्मचारियों का वार्ड-स्तर पर दल गठित किया जायेगा। यह दल वार्ड का भ्रमण कर प्राथमिक सर्वे करेगा और वहाँ के रहवासी समूह, रेसीडेंट वेलफेयर सोसायटी, मोहल्ला समिति, व्यापारी समिति तथा जन-कल्याण में संलग्न एनजीओ के पदाधिकारियों से सम्पर्क करेगा। अभियान के प्रति रुचि पैदा करने के लिये पेंटिंग प्रतियोगिता, नगरीय अभियान के गीत का गायन आदि प्रचार माध्यम का उपयोग किया जायेगा।

द्वितीय चरण में वार्ड सभा की जायेगी। अधोसंरचना विकास तथा हितग्राहीमूलक योजनाओं की मैदानी हकीकत का पता लगाया जायेगा। इस दौरान केन्द्र तथा राज्य की योजनाओं की जानकारी दी जायेगी। छोटे नगर में यह अभियान वार्ड-स्तर पर किया जायेगा। बड़े नगर निगम में विधानसभा क्षेत्र को मुख्य केन्द्र बनाते हुए जानकारी एकत्रित की जायेगी। बीपीएल समूह, मलिन बस्तियों और रहवासी समितियों से संवाद किया जायेगा। अभियान के दौरान समग्र डाटाबेस का मूल्यांकन किया जायेगा और निराश्रित और अनाथ लोगों की पहचान की जायेगी। मलेरिया, डेंगू जैसी मौसमी बीमारियों से बचाव के लिये नागरिकों को जागरूक बनाया जायेगा। बेरोजगारों की रोजगार की आवश्यकता चिन्हांकित की जायेगी तथा इसकी कार्य-योजना बनायी जायेगी। नगरीय विकास की योजनाएँ यथा मुख्यमंत्री शहरी घरेलू कामकाजी महिला कल्याण, पथ पर विक्रय करने वालों के कल्याण की योजना, हाथठेला-साइकिल रिक्शा चालक तथा केश-शिल्पी कल्याण योजनाओं के हितग्राहियों की वार्डवार पहचान कर उन्हें इसका लाभ दिलवाया जायेगा। 'खुले में शौच से मुक्त नगर' बनाने का व्यापक प्रचार-प्रसार किया जायेगा।

द्वितीय चरण में केन्द्र की राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन, अमृत, स्मार्ट सिटी, प्रधानमंत्री शहरी आवास, स्वच्छ भारत मिशन, अटल पेंशन, प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा, प्रधानमंत्री जन-धन, सुकन्या, बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ और प्रधानमंत्री उज्जवला योजना का प्रचार किया जायेगा। साथ ही मुख्यमंत्री शहरी अधोसंरचना विकास, मुख्यमंत्री शहरी पेयजल, लाड़ली लक्ष्मी, मुख्यमंत्री कन्या विवाह, मुख्यमंत्री आर्थिक कल्याण, मुख्यमंत्री स्व-रोजगार, मुख्यमंत्री भवन कर्मकार एवं सन्निर्माण, मुख्यमंत्री बाल ह्रदय, राज्य बीमारी सहायता, मुख्यमंत्री अन्नपूर्णा, सामाजिक सुरक्षा पेंशन, स्कूल चलें हम अभियान और लोक सेवा का प्रदाय गारंटी अधिनियम के बारे में भी नागरिकों को बताया जायेगा। अभियान की शुरूआत सुबह 8 बजे से होगी, जो शाम 7 बजे तक चलेगी। द्वितीय चरण में योजनाओं के हितग्राहियों के चयन के साथ ही अधोसंरचना निर्माण की आवश्यकताओं का भी चिन्हांकन किया जायेगा। इसके साथ ही सार्वजनिक वितरण प्रणाली की दुकानों, आँगनवाड़ियों, स्कूल और छात्रावासों का भी पर्यवेक्षण किया जायेगा। अभियान के दौरान स्वच्छता अभियान अलग से चलाया जायेगा। सभी वार्ड की साफ-सफाई, नाले-नालियों की सफाई, सार्वजनिक शौचालयों की सफाई की जायेगी। वार्ड स्थित सभी शासकीय कार्यालयों की पुताई तथा रख-रखाव किया जायेगा।

अभियान के तृतीय चरण में, जो 20 जनवरी से 5 फरवरी तक चलेगा, में हितग्राहीमूलक योजनाओं में चिन्हांकित लोगों को वृहद कार्यक्रम कर लाभान्वित किया जायेगा। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री या प्रभारी मंत्री उपस्थित रहेंगे। चिन्हांकित अधोसंरचना के स्वीकृत कार्यों का काम शुरू किया जायेगा। नगरीय निकाय परिषद की विशेष बैठक होगी, जिसमें अभियान के दौरान की गयी गतिविधियों का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया जायेगा। नगरीय निकाय से जुड़े मुख्यमंत्री हेल्पलाइन तथा लोक सेवा गारंटी प्रकरणों और राजस्व वसूली की समीक्षा की जायेगी। प्रभारी मंत्री की अध्यक्षता में जिला योजना समिति की बैठक होगी, जिसमें महापौर, अध्यक्ष और जिले के गणमान्य नागरिक तथा स्वयंसेवी संस्थाओं के प्रतिनिधियों को विशेष रूप से आमंत्रित किया जायेगा। बैठक में अभियान का विस्तृत प्रतिवेदन रखा जायेगा। समिति की बैठक में तीन वर्ष की कार्य-योजना और उसके क्रियान्वयन की रूपरेखा को भी बताया जायेगा।

 

साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश