भावी पीढ़ी के लिये प्राकृतिक संसाधनों और नवीन तकनीकों का बेहतर समन्वय हो : कृषि वैज्ञानिक प्रो. राव
Posted on 08 Apr, 2022 9:49 pm
जल के बिना जीवन संभव नहीं। उत्पादकता और उत्पादन में वृद्धि के लिये निश्चित ही हमें नवाचारों की ओर जाना होगा। साथ ही हमें प्राकृतिक संसाधनों का भी भली-भाँति इस्तेमाल करना होगा, जिससे मिट्टी की उर्वरा शक्ति को बनाये रखते हुए जल को भावी पीढ़ी के लिये सुरक्षित और संरक्षित किया जा सके। उप-कुलपति राजमाता विजयाराजे सिंधिया कृषि विश्वविद्यालय और कृषि वैज्ञानिक प्रो. एस.के. राव ने मध्यप्रदेश में समावेशी एवं सतत दृष्टिकोण से कृषि क्षेत्र में परिवर्तन पर अनुभव साझा करने के लिये मौजूद स्व-सहायता समूहों के प्रतिनिधियों से यह बात कही। एम.डी. मण्डी बोर्ड श्री विकास नरवाल ने कहा कि किसानों की आय को बढ़ाने के साथ ही स्व-सहायता समूह (एसएचजी) और किसान उत्पादक समूह (एफपीओ) स्वयं की आय में भी वृद्धि करने और प्रदेश की सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में वृद्धि करने के लिये बेहतर प्रस्ताव प्रस्तुत करें। अटल बिहारी वाजपेई सुशासन एवं नीति विश्लेषण संस्थान (एग्पा) के सम्मेलन सत्र में राष्ट्रीय और राज्य-स्तरीय स्व-सहायता समूहों के प्रतिनिधि शामिल हुए।
कुशाभाऊ ठाकरे इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर में एग्पा के सम्मेलन में कृषि पर मुख्य रूप से 3 बिन्दुओं पर चर्चा करते हुए अनुभव साझा किये। साथ ही मध्यप्रदेश में कृषक हित में बेहतर नीति-निर्धारण करने के लिये विस्तार से चर्चा हुई। कृषि जलवायु क्षेत्र, पौष्टिक एवं किफायती खाद्य तक पहुँच बढ़ाने और छोटे किसानों को मार्केटिेंग के अवसर प्रदान करने के लिये कृषि एवं खाद्य प्रणालियों में विविधिकरण करने पर अनुभव साझा किये। प्रतिनिधियों ने प्राकृतिक संसाधनों के बेहतर प्रबंधन, जलवायु अनुकूलन को बढ़ावा देने, न्यूनतम संसाधन का उपयोग और पर्यावरण की दृष्टि से टिकाऊ खाद्य प्रणालियों का निर्माण करने के साथ कृषि उत्पादकता बढ़ाने की रणनीति पर विचार रखे गये। प्रतिभागियों ने छोटे किसानों और सामुदायिक संस्थाओं की बाजार और वित्तीय समावेशन की बाधाओं को दूर करने में मदद करने के लिये, विपणन, निर्यात, प्र-संस्करण और प्रौद्योगिकी एकीकरण की बाधाओं को कम करने के लिये संस्थागत तंत्र को मजबूत करने पर भी वैचारिक आदान-प्रदान किया।
कृषिगत बेहतर नीति निर्माण के लिये हुए सत्र में सेंटर फार एडवांस रिसर्च डेव्हलपमेंट (सीआरडी) के डायरेक्टर श्री विवेक शर्मा, मध्य भारत कंसोरटियम ऑफ फार्मर्स प्रोड्यूसर कम्पनी के सीईओ श्री योगेश द्विवेदी, एएसए के श्री मानस मोहन, प्रदान संस्था के श्री रविन्द्र नाथ, आईडीएच के स्टेट हेड श्री मानवेन्द्र सिंह, एक्सेस डेव्हलपमेंट सर्विसेस के स्टेट हेड श्री चिंतन मेघवंशी सहित प्रदेश के अन्य एसएचजी एवं एफपीओ के प्रतिनिधि सार्थक चर्चा में शामिल हुए। सत्र की मॉडरेटर एग्पा की प्रिंसिपल एडवाइजर डॉ. सुपर्वा पटनायक थी।
साभार – जनसम्पर्क विभाग मध्यप्रदेश