अधिनियम का कार्यान्वयन और निगरानी (Monitoring of implementation of the Act) - POCSO RULES 2020
Updated: Mar, 13 2020
12. अधिनियम का कार्यान्वयन और निगरानी-
(1) बाल अधिकार संरक्षण अधिनियम, 2005 (2006 के 4) के राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (जिसे इसके पश्चात् "एनसीपीसीआर" कहा गया है) या राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग (जिसे इसके पश्चात् "एससीपीसीआर" कहा गया है), जैसा भी मामला हो उन्हें सौंपे गए कार्यों के अतिरिक्त अधिनियम के उपबंधों के कार्यान्वयन करने के लिए निम्नलिखित कार्य करेंगे :
(क) राज्य सरकारों द्वारा विशेष न्यायालयों की अभिहित की निगरानी;
(ख) राज्य सरकारों द्वारा विशेष लोक अभियोजकों की नियुक्ति की निगरानी;
(ग) गैर-सरकारी संगठनों, वृत्तिकों और विशेषज्ञों या बालक की सहायता करने के लिए पूर्व परीक्षण और परीक्षण चरण और इन मार्गदर्शक सिद्धांतों के उपयोग की निगरानी के लिए मनोविज्ञान, सामाजिक कार्य, शारीरिक स्वास्थ्य, मानसिक स्वास्थ्य और बालकों के विकास से जुड़े संबंधित ज्ञान वाले व्यक्तियों के उपयोग के लिए राज्य सरकारों द्वारा अधिनियम की धारा 39 में वर्णित मार्गदर्शक सिद्धांतों के निरूपण की निगरानी;
(घ) अधिनियम के अधीन अपने कार्यों के प्रभावी निर्वहन के लिए केन्द्रीय और राज्य सरकारों के अधिकारियों सहित पुलिस कर्मियों और अन्य संबंधित व्यक्तियों के लिए प्रशिक्षण मॉड्यूल की डिजाइन तैयार करने और कार्यान्वयन की निगरानी;
(ड.) केन्द्रीय सरकार और राज्य सरकारों द्वारा टेलीविजन, रेडियो और प्रिंट मीडिया सहित मीडिया के माध्यम से नियमित अंतराल पर अधिनियम के उपबंधों से संबंधित सूचना के प्रसार की निगरानी और समर्थन करना, ताकि आम लोग, बालकों के साथ-साथ उनके माता-पिता और अभिभावक अधिनियम के उपबंधों से अवगत हो सकें।
(च) सीडब्ल्यूसी के अधिकार क्षेत्र में आने वाले बाल यौन शोषण के किसी विशेष मामले की रिपोर्ट मंगाना।
(छ) निम्नलिखित से संबंधित जानकारी सहित अधिनियम के अधीन की प्रक्रियाओं के अधीन यौन दुर्व्यवहार के मामलों और उनके निपटान के बारे में संबंधित एजेंसियों या स्वयं से जानकारी या आंकड़ा संग्रह करना: -
(i) अधिनियम के अधीन रिपोर्ट किए गए अपराधों की संख्या और विवरण;
(ii) क्या प्रक्रियाओं में शामिल टाइमफ्रेम सहित अधिनियम और नियमों के अधीन विहित प्रक्रियाओं का पालन किया गया था;
(iii) इस अधिनियम के अधीन अपराधों के पीड़ितों की देखरेख और आपातकालीन चिकित्सा देखभाल और चिकित्सा परीक्षा की व्यवस्था सहित सुरक्षा की व्यवस्था का विवरण, और,
(iv) किसी भी विशिष्ट मामले में संबंधित सीडब्ल्यूसी द्वारा बालकों की देखभाल और सुरक्षा की आवश्यकता के आकलन के बारे में विवरण;
(ज) अधिनियम के उपबंधों के कार्यान्वयन का आकलन करने के लिए एकत्रित जानकारी का उपयोग करना। अधिनियम की निगरानी की रिपोर्ट को एनसीपीसीआर या एससीपीसीआर की वार्षिक रिपोर्ट में एक अलग अध्याय में शामिल किया जाएगा।
(2) संबंधित अधिकारियों को अधिनियम के अधीन डेटा एकत्र करने, इस तरह के डेटा को केंद्रीय सरकार और प्रत्येक राज्य सरकार, एनसीपीसीआर और एससीपीसीआर के साथ साझा करने का अधिदेश प्राप्त है।
12. Monitoring of implementation of the Act.–
(1) The National Commission for the Protection of Child Rights (hereafter referred to as “NCPCR”) or the State Commission for the Protection of Child Rights (hereafter referred to as “SCPCR”), as the case may be, shall in addition to the functions assigned to them under the Commissions for Protection of Child Rights Act, 2005 (4 of 2006), perform the following functions for implementation of the provisions of the Act––
(a) monitor the designation of Special Courts by State Governments;
(b) monitor the appointment of the Special Public Prosecutors by the State Governments;
(c) monitor the formulation of the guidelines described in section 39 of the Act by the State Governments, for the use of non-governmental organisations, professionals and experts or persons having knowledge of psychology, social work, physical health, mental health and child development to be associated with the pre-trial and trial stage to assist the child, and to monitor the application of these guidelines;
(d) monitor the designing and implementation of modules for training police personnel and other concerned persons, including officers of the Centre and State Governments, for the effective discharge of their functions under the Act;
(e) monitor and support the Central Government and State Governments for the dissemination of information relating to the provisions of the Act through media including the television, radio and print media at regular intervals, so as to make the general public, children as well as their parents and guardians aware of the provisions of the Act.
(f) call for a report on any specific case of child sexual abuse falling within the jurisdiction of a CWC.
(g) collect information and data on its own or from the relevant agencies regarding reported cases of sexual abuse and their disposal under the processes provided under the Act, including information on the following:-
(i) number and details of offences reported under the Act;
(ii) whether the procedures prescribed under the Act and rules were followed, including those regarding timeframes;
(iii) details of arrangements for care and protection of victims of offences under this Act, including arrangements for emergency medical care and medical examination; and,
(iv) details regarding assessment of the need for care and protection of a child by the concerned CWC in any specific case;
(h) use the information so collected to assess the implementation of the provisions of the Act. The report on monitoring of the Act shall be included in a separate chapter in the annual report of the NCPCR or the SCPCR.
(2) The concerned authorities mandated to collect data, under the Act, shall share such data with the Central Government and every State Government, NCPCR and SCPCRs.