No: --- Dated: Jan, 01 1992

 

सम्बंधित अधिनियम -

मध्य प्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम 1991

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991

 

क्र. एफ. 8-3-91-आठ, दिनांक 24 दिसम्बर, 1991 - - मध्यप्रदेश मोटरयान काराधान अधिनियम, 1991 (क्रमांक 25 सन् 1991) की धारा 24 द्वारा प्रदत्त शक्तियों को प्रयोग में लाते हुए राज्य सरकार एतद्द्वारा, निम्नलिखित नियम बनाती है, अर्थात:

नियम

1. संक्षिप्त नाम और प्रारंभ - - (क) इन नियमों का संक्षिप्त नाम मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 है ।

(ख) ये ऐसी तारीख को प्रवृत्त होंगें, जिसको कि मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 उक्त अधिनियम की धारा 1 की उपधारा (3) के अधीन प्रवृत्त किया जाए ।

2. परिभाषाएँ – इन नियमों में, जब तक संदर्भ से अन्यथा अपेक्षित न हो :-

(क) “अधिनियम” से अभिप्रेत है मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम 1991 (क्रमांक 25 सन् 1991);

(ख) “मोटरयान में परिवर्तन” से अभिप्रेत है और उसमें सम्मिलित है, उस रजिस्ट्रीकरण प्रमाण पत्र या अनुज्ञा पत्र की, जिसके अन्तर्गत मोटरयान आता है, विशिष्टियों में किया गया कोई परिवर्तन;

(ग) “बैड़ा स्वामी” से अभिप्रेत है, मंजिली गाड़ियों या ठेका गाड़ियों या दोनों को मिलाकर एक सौ या उससे अधिक के एक अनुज्ञा पत्र या अनुज्ञा पत्रों को धारण करने वाला कोई स्वामी;

(घ) “प्ररूप” से अभिप्रेत है, इन नियमों से संलग्नर प्ररूप;

(ङ) “मास” से अभिप्रेत है, ब्रिटिश कलैण्डर के अनुसार संगणित मास;

(च) “टोकन” से अभिप्रेत है, अधिनियम की धारा 12 की उपधारा (1) के अधीन जारी किया गया टोकन;

(छ) अभिव्यक्ति “राज्य में अस्थायी रूप से उपयोग के लिए लाया गया मोटरयान” से अभिप्रेत है, अन्य राज्य या संघ राज्यक्षेत्र से तीन मास से अनधिक कालावधि के लिए मध्यप्रदेश राज्य में उपयोग हेतु लाया गया या उपयोग हेतु रखा गया कोई मोटरयान;

(ज) “परिवहन जाँच चौकी” से अभिप्रेत है, मध्यप्रदेश मोटर परिवहन यानों पर पथकर का उदग्रहण अधिनियम, 1985 की धारा 4 के अधीन स्थापित किया गया कोई नाका;

(झ) उन शब्दों तथा अभिव्यक्तियों के, जो इन नियमों में प्रयुक्त हुए हैं, किन्तु परिभाषित नहीं हैं, वही अर्थ होगें जो उनके लिए अधिनियम में तथा मोटरयान अधिनियम, 1988 (1988 का सं. 59) और उसके अधीन बनाए गए नियमों में दिए गए हैं ।

3. कराधान प्राधिकारी की अधिकारिता - - अधिनियम की धारा 2 के खण्ड (क) के अधीन नियुक्त किए गए कराधान प्राधिकारी की अधिकारिता वही होगी जैसी कि राज्य सरकार द्वारा अधिसूचित किया जाए;

परन्तु यदि एक से अधिक अधिकारी कराधान प्राधिकारी के रूप मे प्रयुक्त किए जाते हैं तो परिवहन आयुक्त लिखित आदेश द्वारा उनकी अधिकारिता और उनमें से प्रत्येक के द्वारा किये जाने वाले कृत्यों का अवधारण कर सकेगा ।

4. देय कर की प्रविष्टियाँ - - (1) जहाँ कोई मोटरयान राज्य में रजिस्ट्रीकृत है या कोई मोटरयान राज्य में लाया जाता है तो कराधान प्राधिकारी उस मोटरयान के संबंध में देय मासिक, तिमाही, छहमाही, वार्षिक या जीवन काल कर की रकम से संबंधित प्रविष्टि रजिस्ट्रीकरण प्रमाण- पत्र में करेगा और नियम 20 के उपनियम (2) के अधीन विहित किए गए “मांग और वसूली के रजिस्टर” में भी करेगा ।

(2) किसी मोटरयान को लागू होने वाली कर की दर की शुद्धता अभिनिश्चित करने के प्रयोजन के लिए कराधान प्राधिकारी या उसके द्वारा इस निमित्त लिखित में प्राधिकृत कोई अन्य अधिकारी मोटरयान के स्वामी या चालक या किसी अन्य भारसाधक व्यक्ति से यह अपेक्षा कर सकेगा कि वह यथास्थिति ऐसे प्राधिकारी या अधिकारी के समक्ष उन्हें प्रस्तुत करे ।

[5. घोषणा का फाइल किया जाना - - (1) अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (1) के अधीन फाइल किए जाने हेतु अपेक्षित घोषणा –

(एक) परिवहन यान से भिन्न यान के लिए प्ररूप “क” में;

(दो) मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञा पत्र के अन्तर्गत आने वाले मोटरयान से भिन्न परिवहन यान के लिए प्ररूप “ख” में;

(तीन) मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञा पत्र के अन्तर्गत आने वाले परिवहन यान के लिए प्ररूप “ख-1” में; और

(चार) मोटरयान के विनिर्माता या व्यापारी द्वारा प्ररूप “ग” में,

होगी और उसमें कथित विशिष्टियां अंतर्विष्ट होंगी ।

(2) उपनियम (1) में निर्दिष्ट घोषणा :-

(एक) यदि कर किसी यान के जीवन काल के लिए देय है तो जीवनकाल कर के संदाय के लिए नियत अंतिम तारीख को या उसके पूर्व;

(दो) यदि कर किसी तिमाही के लिए देय है तो तिमाही प्रारंभ होने के पश्चात् 15 दिन के भीतर;

(तीन) यदि कर एक मास के लिए देय है तो मास प्रारंभ हाने के पश्चात् 10 दिन के भीतर;

(चार) यदि कर एक तिमाही या एक मास की कालावधि से कम कालावधि के लिए देय है तो उस तारीख को या उसके पूर्व, जिसको कि कर शोध्य हो जाता है,

फाईल की जायेगी :

परंतु किसी ऐसे मोटरयान के संबंध में, जिसका राज्य में रजिस्ट्रीकरण होना है, प्रथम घोषणा उस तारीख को या उसके पूर्व जिसको कि उसका रजिस्ट्रीकरण होना है, फाइल की जाएगी :

परंतु यह और भी कि मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 47, 49 या 50 के अधीन क्रमश: नया रजिस्ट्रीकरण चिन्ह प्राप्त करने, निवास या व्यापार के स्थान में परिवर्तन करने या स्वामित्व का अंतरण करने के लिए राज्य में लाए गए मोटरयान की बाबत् प्रथम घोषणा, राज्य में प्रवेश के समय फाईल की जाएगी ।

(3) घोषणा के साथ कर के संदाय के साक्ष्य स्वरूप रेखांकित बैंक ड्राफ्ट, “मूलप्रति” अंकित किया हुआ भुगतान शुदा कोषालय चालान या नकद रसीद या तो स्वामी द्वारा व्यक्तिश: या उसके द्वारा निर्मित सम्यक् रूप से प्राधिकृत प्रतिनिधि द्वारा कराधान प्राधिकारी को परिदत्त की जाएगी ।

(4) यदि किसी मोटरयान का स्वामी टोकन प्राप्त करने के लिए स्थान परिवर्तन का इच्छुक है तो यह एक घोषणा प्रारूप “घ” में, दो प्रतियों में उस कराधान प्राधिकारी के समक्ष, जहां वह नियमित रूप से कर का संदाय कर रहा है, फाईल करेगा ।

(5) प्ररूप “घ” में घोषणा प्राप्त होने पर कराधान प्राधिकारी का यदि समाधान हो जाता है कि मोटरयान के स्वामी से कोई कर, शास्ति या ब्याज शोध्य नहीं है तो वह रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र में तथा “मांग और वसूली के रजिस्टर” में आवश्यक पृष्ठांकन करेगा और घोषणा की दूसरी प्रति अन्य कराधान प्राधिकारी को अग्रेषित करेगा ।]

[6. मोटरयान परिवर्तित हो जाने पर घोषणा का फाइल किया जाना - - (1) अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (2) में अपेक्षित अतिरिक्त घोषणा:-

(एक) मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञा पत्र के अंतर्गत आने वाले यान से भिन्न यान के लिए प्रारूप “ङ” में, और

(दो) मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञा पत्र के अंतर्गत आने वाले यान से भिन्न यान के लिए प्रारूप “ड-1” में, उस तारीख को जिसको कि यान में परिवर्तन किया जाता है, फाइल की जाएगी और उसमें कथित विशिष्टियां अंतर्विष्ट होंगी ।]

(2) धारा 8 की उपधारा (2) के अधीन आने वाले मोटरयान के संबंध में उस तिमाही, छहमाही या वर्ष की बाबत्, जिसमें कि परिवर्तन किया गया है, देयकर के अंतर की रकम का पूर्व से ही संदत्त की गई रकम और उस तिमाही, छहमाही या वर्ष के लिए उच्चतर दर पर देय रकम के अंतर के साथ वही अनुपात होगी जो कि उसे तिमाही, छहमाही या वर्ष के अनवसित भाग के तिमाही, छहमाही या वर्ष के साथ होता है :

परंतु यदि धारा 5 की उपधारा (1) के तृतीय परन्तुक में विनिर्दिष्ट किया गया कोई मोटरयान परिवर्तित किया जाता है तो कर का अंतर उस संपूर्ण मास के लिए जिसमें कि ऐसा परिवर्तन किया गया है, संदत्त किया जाएगा :

परंतु यह और भी कि यदि ऐसे मंजिली गाड़ी अनुज्ञा पत्र या किसी ठेका गाड़ी अनुज्ञा पत्र के जिसके लिए कर का उच्चतर स्लेब लागू होता है, स्वीकृत होने के कारण कोई मोटरयान परिवर्तित किया जाता है तो कर का अंतर उस मास के, जिसमें कि ऐसा परिवर्तन किया गया है, अनवसित भाग के लिए अनुपातिक दर के आधार पर संदत्त किया जाएगा ।

(3) जहाँ किसी मंजिली गाड़ी अनुज्ञा पत्र या किसी ठेका गाड़ी अनुज्ञा पत्र के अन्तर्गत आने वाले किसी लोक सेवा यान के स्थान पर, अनुज्ञा पत्र प्रदान करने वाले प्राधिकारी की अनुज्ञा अभिप्रदत्त करने के पश्चात् किसी अन्य यान को स्थापित किया जाता है, वहाँ पूर्व में संदत्त किए गए कर के संबंध में यह समझा जाएगा कि उसे ऐसी तारीख जिसको कि यान प्रतिस्थापित किया गया है, के पश्चात् आने वाली कालावधि के लिए ऐसे अन्य यान के संबंध में संदत्त कर दिया गया है, अनुज्ञा पत्र से हटा दिया गया यान, ऐसे प्रतिस्थापन की तारीख के पश्चात् आने वाली तारीख से अधिनियमित तथा इन नियमों के उपबंधों के अनुसार कर का संदाय करने के लिए दायी होगा ।

[(4) जब किसी यान का, जो मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञा पत्र के ऐसे मार्ग पर जिस पर ऐसा यान ऐसे अनुज्ञापत्र द्वारा संचालन हेतु प्राधिकृत है, सेवा बनाए रखने के लिए उपयोग किया जाता है तो उस यान की बाबत् कोई अतिरिक्त कर उद्ग्रहणीय नहीं होगा यदि ऐसे अनुज्ञा पत्र की बाबत् प्रथम अनुसूची के मद चार की उप मद (घ) के अधीन युक्तियुक्त स्लेब के अनुसार शोध्यकर का संदाय सम्यक् रूप से कर दिया गया है ।]

स्पष्टीकरण - - (1) तिमाही, छहमाही या वर्ष के अनवसित भाग की संगणना करने के प्रयोजन के लिए किसी मास के भाग को संपूर्ण मास के रूप में समझा जाएगा ।

(2) यह नियम ऐसे लोक सेवा यान को भी लागू होगा, जो ऐसे अनुज्ञा पत्र के, जिसके लिए कर का उच्चतर स्लेब लागू होता है, स्वीकृत होने के कारण उच्चतर स्लेब में कर का संदाय करने का दायी हो जाता है, किन्तु ऐसे मामले में लागू नहीं होगा, जहाँ उस मोटर कार का, जिसके संबंध में जीवन काल कर का संदाय किया जा चुका है, दुरूपयोग मालयान, मोटर केब या मंजिली गाड़ी के रूप में किया गया है ।

[6क. देय कर का अवधारण - - (1) अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (1) या (2) के अधीन घोषणा प्राप्त होने पर कराधान प्राधिकारी, विलंब किए बगैर देय कर की रकम का अवधारण करने के लिए अग्रसर होगा और उक्त धारा की उपधारा (3) के अधीन यथाशीघ्र आदेश पारित करेगा ।

(2) जहाँ स्वामी द्वारा कर का संदाय करने के लिए नियत अंतिम तारीख तक कोई फाइल नहीं की जाती है, तो कराधान प्राधिकारी, विलंब किए बगैर देय कर की रकम का अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (4) के अधीन स्वप्रेरणा से अवधारण करने के लिए अग्रसर होगा और उस उपधारा के अधीन यथाशीघ्र आदेश पारित करेगा ।

(3) अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (3) या (4) के अधीन आदेश पारित करते समय कराधान प्राधिकारी ऐसे आदेश की उसी समय प्ररूप “ङ-2” में सूचना जारी करेगा जो स्वामी पर नियम 15 के उपनियम (2) में अधिकथित रीति में तामील की जाएगी ।]

[स्पष्टीकरण - - उपनियम (1) या (2) के अधीन पारित आदेश तब तक वैध रहेगा जब तक कि कर की दर या यान परिवर्तित न कर दिया जाए और कर का नया अवधारण कर की दर या यान में किसी परिवर्तन के पश्चात् ही आवश्यक होगा ।]

7. कर आदि के संदाय की रीति -- (1) अधिनियम की धारा 3 या 4 के अधीन देय कर का संदाय यथा स्थिति स्वामी, व्यापारी या विनिर्माता द्वारा कराधान प्राधिकारी को निम्नानुसार किया जाएगा:-

(क) यदि किसी तिमाही के लिए कर देय हो तो उस तिमाही के प्रारंभ होने के पश्चात् पंद्रह दिन के भीतर;

(ख) यदि किसी मास के लिए कर देय हो तो उस मास के प्रारंभ होने के पश्चात् दस दिन के भीतर;

(ग) यदि किसी तिमाही या एक मास से कम की कालावधि के लिए [या यान के जीवनकाल के लिए] कर देय हो तो उस तारीख को या उसके पूर्व जिसको की कर देय होता है :

[परन्तु किसी ऐसे मोटरयान के संबंध में, जिसका राज्य में रजिस्ट्रीकरण होना है, कर उस तारीख को, जिसको कि उसका रजिस्ट्रीकरण होना है, संदत्त किया जाएगा ।]

परन्तु यह और भी कि किसी अस्थायी अनुज्ञापत्र या विशेष अनुज्ञापत्र चलाए जाने वाले लोक सेवा यान द्वारा [देय कर का अंतर] यथास्थिति, अस्थायी अनुज्ञापत्र या विशेष अनुज्ञापत्र जारी होते समय संदत्त किया जायेगा ।

(2) कर का संदाय दो या अधिक तिमाहियों के लिए अग्रिम में संदत्त किया जा सकेगा ।

(3) अधिनियम के अधीन प्रत्येक रकम का संदाय :-

(क) उस स्थान के, जहां कि कराधान, प्राधिकारी अवस्थित है, [किसी अधिसूचित बैंक] के नाम पर लिखे गए रेखांकित बैंक ड्राफ्ट द्वारा किया जाएगा ।

(ख) कराधान प्राधिकारी की अधिकारिता के भीतर अवस्थित कोषालय या उपकोषालय में कोषालय चालान द्वारा जमा करके किया जाएगा :

परन्तु कराधान प्राधिकारी, परिवहन यान से भिन्न किसी यान के स्वामी को अपने कार्यालय में नकद रकम जमा करने के लिए अनुज्ञात कर सकेगा और ऐसे मामले में रकम जमा करने वाले व्यक्ति को धन रसीद जारी की जाएगी ।

(4) कराधान प्राधिकारी के कार्यालय में शोध्य रकम नगद जमा करने के लिए अनुज्ञात किए जाने की दशा में नकद रकम प्राप्त करने के लिए कराधान प्राधिकारी द्वारा प्राधिकृत व्यक्ति :-

(क) यदि संदाय जीवन – काल कर के संबंध में है तो प्ररूप – च में ;

(ख) अन्य मामलों में प्ररूप “छ” में,

तीन प्रतियों में धन रसीद तैयार करेगा; और दूसरी प्रति रकम जमा करने वाले व्यक्ति को दी जाएगी तथा प्रथम प्रति, यथास्थिति नियम 5 या 6 के अधीन विहित की गई घोषणा के साथ चस्पा की जाएगी ।

(5) कर का संदाय करने की तारीख वही होगी जो कि यथास्थिति कराधान प्राधिकारी द्वारा रेखांकित बैंक ड्राफ्ट प्राप्त करने की तारीख है या कोषालय में रकम जमा करने की तारीख है या कराधान प्राधिकारी कार्यालय में रकम जमा करने की तारीख है :

[परन्तु नियम 14 के उपनियम (9) के अनुसार वापसी के दावे के समायोजन द्वारा कर के संदाय करने की तारीख, उस नियम के उपनियम (2) के अधीन कर की वापसी के लिए आवेदन प्रस्तुत करने की तारीख समझी जाएगी ।]

(6) कराधान प्राधिकारी, स्वयं का यह समाधान कर लेने के पश्चात् कि मोटरयान के संबंध में शोध्य कर संदत्त किया जा चुका है, रजिस्ट्रीकरण में प्रमाण-पत्र के संदाय की गई कर की रकम को उस कालावधि को, जिसके लिए उसका संदाय किया गया है, विनिर्दिष्ट करते हुए सम्यक् रूप से हस्ताक्षरित और कार्यालय की मुद्रा से मुद्रांकित करके पृष्ठांकन करेगा, साथ ही साथ नियम 20 के उपनियम (2) के अधीन विहित किए गए “मांग और वसूली रजिस्टर” में पृष्ठांकन किया जाएगा जिसे स्वयं कराधान प्राधिकारी के द्वारा या उसके द्वारा इस निमित्त लिखित में सम्यक् रूप से प्राधिकृत किसी ऐसे अधिकारी के द्वारा, जो उपनिरीक्षक की श्रेणी से नीचे का न हो, हस्ताक्षरित किया जाएगा ।

8. अन्य राज्यों के मोटरयानों के संबंध में कर का संदाय करने की रीति- - (1) इस नियम में इसके पश्चात् यथा उपबंधित के सिवाय राज्य में अस्थायी उपयोग से अन्यथा लाया गया कोई मोटरयान यथास्थिति, अधिनियम की प्रथम या द्वितीय अनुसूची के अनुसार, कर संदाय करने का दायी होगा ।

(2) मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 88 की उपधारा (9) के अधीन अन्य राज्य के परिवहन प्राधिकारी द्वारा मंजूर किए गए ऑल इंडिया टूरिस्ट परमिट के अंतर्गत कोई मोटरयान मध्यप्रदेश में चलाए जाने के लिए वैध प्राधिकार पत्र सहित मध्यप्रदेश में प्रवेश के समय, परिवहन जांच चौकी पर कर का संदाय करेगा । संदाय नकद या परिवहन आयुक्त मध्यप्रदेश को ग्वालियर में देय रेखांकित बैंक ड्राफ्ट द्वारा किया जाएगा और उसका पृष्ठांकन जांच चौकी के भारसाधक अधिकारी द्वारा प्राधिकार पत्र में किया जाएगा ।

(3) केन्द्रीय मोटरयान नियम, 1989 के नियम 87 के उपनियम (2) के अधीन राज्य के परिवहन प्राधिकारी द्वारा मंजूर किए गए राष्ट्रीय अनुज्ञापत्र के संबंध में प्रथम अनुसूची की मद पाँच की उपमद (ख) के अधीन देय कर [प्राधिकार पत्र की मंजूरी के समय एक मुश्त एक बार में या दो छ: माही किस्तों में देय होगा]।

(4) यदि उपनियम (3) में निर्दिष्ट प्रारंभिक प्राधिकार पत्र वर्ष की पहली तिमाही के पश्चात् किसी भी समय मंजूर किया गया हो तो रकम, वर्ष की शेष तिमाहियों के लिए, उस तिमाही को सम्मिलित करते हुए जिसको प्राधिकार पत्र मंजूर किया गया हो, आनुपातिक दर के आधार पर देय होगी ।

[(5) मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 88 की उपधारा (12) के अधीन अन्य राज्य के परिवहन प्राधिकारी द्वारा मंजूर किए गए राष्ट्रीय अनुज्ञापत्र के अन्तर्गत आने वाले कोई मोटरयान मध्यप्रदेश में चलाए जाने के लिये वैध प्राधिकार पत्र सहित मध्यप्रदेश में प्रवेश के समय, परिवहन जांच चौकी पर कर का संदाय करेगा । संदाय नकद में या परिवहन आयुक्त मध्यप्रदेश को ग्वालियर में देय रेखांकित बैंक ड्राफ्ट द्वारा किया जाएगा और उसका पृष्ठांकन जांच चौकी के भारसाधक अधिकारी द्वारा प्राधिकार पत्र में किया जाएगा तथा इस प्रकार पृष्ठांकित प्राधिकार पत्र सदैच ही मालयान के साथ रखा जाएगा और निरीक्षण के लिए परिवहन विभाग के किसी ऐसे अधिकारी द्वारा जो सहायक परिवहन उपनिरीक्षक की पद श्रेणी से निम्न पद श्रेणी का न हो, मांग किये जाने पर प्रस्तुत किया जाएगा ।]

(6) प्रथम अनुसूची की मद पाँच की उपमद (ख) के अधीन संदत्त किया गया कर और नियम 20 के उपनियम (4) के अधीन संदत्त की गई अतिरिक्त रकम वापसी योग्य नहीं होगी, किंतु जहां प्राधिकार पत्र के अंतर्गत आने वाला कोई यान, अनुज्ञापत्र मंजूर करने वाले प्राधिकारी की अनुज्ञा अभिप्राप्त करने के पश्चात्, दूसरे यान से बदला जाता है तो पूर्व में संदत्त किए गए कर के बारे में यह समझा जाएगा कि यान को बदले जाने की तारीख के पश्चात् की कालावधि के लिए, बदले गए यान के लिए कर का संदाय किया गया है ।

(7) राज्य में अस्थायी उपयोग के लिए लाया गया मोटरयान, अधिनियम की धारा 3 की उपधारा (1) के अधीन प्रथम अनुसूची के अनुसार, निम्नलिखित रीति में कर के संदाय का दायी होगा :-

(एक) परिवहन यान के मामले में कर का संदाय, कराधान प्राधिकारी, को ऐसे यान के स्वामी द्वारा यथास्थिति :-

(क) राज्य में, अनुज्ञापत्र पर प्रति हस्ताक्षर के लिए आवेदन करते समय किया जाएगा ; या

(ख) अन्य राज्य के परिवहन प्राधिकारी को अस्थायी अनुज्ञापत्र की मंजूरी के लिए आवेदन करते समय किया जाएगा ।

(दो) परिवहन यान से भिन्न किसी यान के मामले में कर का संदाय, मोटरयान के स्वामी द्वारा, राज्य में यान के आगमन पर कराधान प्राधिकारी या परिवहन जांच चौकी के भारसाधक अधिकारी को किया जाएगा :

परन्तु राज्य में अस्थायी उपयोग के लिए लायी गई मोटर साइकिल या मोटर कार या अशक्त यात्री गाड़ी के मामले में यदि उस मोटरयान की बाबत राज्य कर का संदाय अन्य राज्य या संघ राज्य क्षेत्र में पूर्व में किया जा चुका है या कर उद्ग्रहणीय नहीं होगा ।

(तीन) राज्य में अस्थायी उपयोग के लिए लाए गए मोटर यान का वह स्वामी, जो कर का संदाय करने का दायी है, राज्य में आगमन पर कर का संदाय करते समय कराधान प्राधिकारी या परिवहन जांच चौकी के भारसाधक अधिकारी के समक्ष प्ररूप – ज में एक घोषणा फाइल करेगा ।

(चार) जहाँ यान के ऐसे स्वामी द्वारा कर का संदाय कर दिया गया हो वहाँ यथास्थिति कराधान प्राधिकारी या भारसाधक अधिकारी द्वारा प्ररूप-छ: में रसीद दी जाएगी ।

[8 – क. बेड़ा स्वामी द्वारा घोषणा का फाइल किया जाना, कर का अवधारण और संदाय - - (1) नियम 5, 6, 6-क, 7 या 8 में अंतर्विष्ट किसी बात के होते हुए भी बेड़ा स्वामी द्वारा उसके स्वामित्व की मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित मंजिली गाड़ियों के संबंध में अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (1) के अधीन फाइल की जाने वाली अपेक्षित की गई घोषणा प्रारूप-ज- 1 में होगी और मास के प्रारंभ होने के दस दिनों के भीतर सम्यक् रूप से प्राधिकृत प्रतिनिधि के माध्यम से कराधान प्राधिकारी को परिदत्त की जाएगी।

(2) बेड़ा स्वामी द्वारा मास के दौरान परिवर्तित की गई मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित मंजिली गाड़ियों के संबंध में अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (2) के अधीन अपेक्षित की गई अतिरिक्त घोषणा प्ररूप ज-2 में होगी और मास के समाप्त होने के दस दिन के भीतर सम्यक् रूप से प्राधिकृत प्रतिनिधि के माध्यम से कराधान प्राधिकारी को परिदत्त की जाएगी ।

(3) यथास्थिति, उपनियम (1) के अधीन घोषणा या उपनियम (2) के अधीन अतिरिक्त घोषणा के साथ ऐसे कर के जिसका संदाय करने के लिए वह बेड़ा स्वामी ऐसी घोषणा या अतिरिक्त घोषणा द्वारा दायी होना प्रतीत होता है, संदाय करने के साक्ष्य स्वरूप रेखांकित बैंक ड्राफ्ट या “मूल प्रति” अंकित किया हुआ भुगतान शुदा कोषालय चालान, संदाय किया जाएगा ।

(4) मास के लिए उपनियम (1) के अधीन घोषणा तथा उपनियम (2) के अधीन घोषणा प्राप्त होने पर कराधान प्राधिकारी घोषणा तथा अतिरिक्त घोषणा ठीक होने के संबंध में स्वयं का समाधान कर लेने के पश्चात् और ऐसी जांच करने के पश्चात् जैसी कि वह उचित समझे एक लिखित आदेश द्वारा बेड़ा स्वामी द्वारा उसकी मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित मंजिली गाड़ियों के संबंध में मास के लिए देय कर की रकम का अवधारण करेगा तथा नियम 15 के उपनियम (2) में अधिकथित रीति में प्ररूप ज- 3 में ऐसे आदेश की सूचना बेड़ा स्वामी पर तामील की जाने के लिए जारी करेगा ।

(5) यदि बेड़ा स्वामी उपनियम (1) के अधीन घोषणा या उपनियम (2) के अधीन अतिरिक्त घोषणा फाइल करने में असफल रहता है तो कराधान प्राधिकारी अविलंब उसके पास उपलब्ध जानकारी के आधार पर बेड़ा स्वामी द्वारा देय मासिक कर की रकम का स्वप्रेरणा से अवधारण करने के लिए अग्रसर होगा तथा अधिनियम और इन नियमों के अनुसार इस प्रकार अवधारित कर की वसूली करने हेतु अग्रसर होगा ।

(6) जब, बेड़ा स्वामी द्वारा उसकी मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित गाड़ियों के संबंध में देय मासिक कर की रकम का यथास्थिति उपनियम (4) या (5) के अधीन अवधारण किया जाता है तो संदत्त किए गए कर का अन्तर, नियमों में अधिकथित रीति के अनुसार बेड़ा स्वामी द्वारा संदाय किया जाएगा या उसे वापस किया जाएगा ।

(7) इस नियम के प्रयोजनों के लिए कराधान प्राधिकारी बेड़ा स्वामी से उसके समक्ष कोई यान का कोई लेखा, रजिस्टर, अभिलेख या अन्य दस्तावेज प्रस्तुत करने या कोई जानकारी देने की अपेक्षा कर सकेगा अथवा यान या लेखा, रजिस्टर, अभिलेख या अन्य दस्तावेजों का परीक्षण कर सकेगा और बेड़ा स्वामी ऐसी किसी अपेक्षा का अनुपालन करेगा ।]

9. टोकन - - (1) अधिनियम की धारा 12 की उपधारा (1) के खण्ड (क) के अधीन यथास्थिति, कर का मासिक, तिमाही, छहमाही या वार्षिक संदाय करने के लिए यथा अपेक्षित प्रदान किया जाने वाला टोकन प्ररूप –झ में होगा और कराधान प्राधिकारी द्वारा या इस निमित्त लिखित में उसके द्वारा प्राधिकृत किए गए किसी व्यक्ति द्वारा जारी किया जाएगा ।

(2) उपनियम (1) के अधीन प्रदान किया गया टोकन ऋतुसह (वेदर प्रूफ) बनाए गए वृत्ताकार होल्डर में मोटरयान के पृष्ठभाग पर किसी सहजदृश्य भाग में प्रदर्शित किया जाएगा और उसे इस प्रकार लगाया जाएगा जिससे कि वह दिन के प्रकाश में चालक की सींट के सामने से या उसके बराबर स्तर पर मोटरयान की बगल में खड़े किसी व्यक्ति को स्पष्ट रूप से दिख सके ।

(3) प्रथम अनुसूची की मद चार की उप मद (घ), (ङ) और (च) के अधीन कर का संदाय करने के लिए दायी किसी लोक सेवायान के स्वामी को कराधान प्राधिकारी द्वारा प्ररूप-ञ में एक प्रमाण- पत्र मंजूर किया जाएगा ।

(4) उपनियम (1) के अधीन प्रदान किया गया टोकन और उपनियम (3) के अधीन मंजूर किया गया प्रमाण–पत्र मोटरयान के साथ रखा जाएगा और मांग किये जाने पर परिवहन विभाग के किसी अधिकारी को, जो सहायक परिवहन उपनिरीक्षक की श्रेणी से नीचे का न हो और किसी पुलिस अधिकारी को, जो पुलिस उपनिरीक्षक की श्रेणी से नीचे का न हो, प्रस्तुत किया जाएगा ।

(5) कोई भी व्यक्ति इस नियम में उपबंधित की गई रीति में टोकन की किसी अनुकृति (इमीटेशन) का प्रदर्शन नहीं करेगा या किसी ऐसे टोकन की, जो अपठनीय हो गया हो, प्रयोग मोटरयान पर नहीं करेगा।

(6) (एक) यदि टोकन गुम, नष्ट , विरूपित या अपठनीय हो जाए तो मोटरयान का स्वामी, उस कराधान प्राधिकारी को जिसने टोकन जारी किया था, तथ्य की तत्काल रिपोर्ट करेगा और टोकन की द्वितीय प्रति जारी करने के लिए आवेदन करेगा ।

(दो) यदि मूल टोकन विरूपित या अपठनीय हो गया हो तो वह टोकन की द्वितीय प्रति जारी करने के लिए आवेदन के साथ लौटा दिया जाएगा ।

(तीन) यदि कराधान प्राधिकारी का यह समाधान हो जाए कि उसके द्वारा जारी किया गया मूल टोकन गुम, नष्ट, विरूपित हो गया है या अपठनीय हो गया है, तो वह, फीस के पाँच रूपए का संदाय किये जाने पर, टोकन की द्वितीय प्रति जारी करेगा ।

(चार) टोकन की द्वितीय प्रति इस नियम के उपनियम (2) में उपबंधित किए अनुसार प्रदर्शित की जाएगी ।

(पॉच) यदि मूल टोकन, जिसके गुम हो जाने की रिपोर्ट की गई थी द्वितीय प्रति जारी होने के पश्चात् मिल जाता है तो यान का स्वामी उसे कराधान प्राधिकारी को समर्पित कर देगा।

(छह) प्रथम अनुसूची की मद चार की उपमद (घ), (ङ) और (च) के अधीन लोक सेवा यान के संबंध में संदत्त किए गए कर के प्रमाण- पत्र की द्वितीय प्रति जारी करने के लिए फीस दस रूपए होगी ।

(7) किसी रसीद, चालान, टोकन, प्रमाण-पत्र या किसी अन्य दस्तावेज की फोटो प्रति को अधिनियम के अधीन शोध्य रकम संदत्त की जा चुकने की समर्थन में सबूत नहीं माना जाएगा और यदि मोटरयान का स्वामी ऐसे किसी अभिलेख की फोटो प्रति प्रस्तुत करता है तो यह समझा जाएगा कि उसका कोई सबूत प्रस्तुत ही नहीं किया गया है ।

10. शास्ति आदि का अधिरोपण और संदाय - - (1) अधिनियम की धारा 13 के अधीन देय शास्ति मोटरयान के स्वामी द्वारा शोध्य कर की रकम के साथ संदत्त की जाएगी और उसके व्यौरे यथास्थिति, नियम 5 या 6 के अधीन विनिर्दिष्ट घोषणा में दिए जाएँगें ।

(2) प्ररूप “क”, “ख” या “ग” में घोषणा प्राप्त होने पर कराधान प्राधिकारी स्वामी द्वारा संदत्त की गई शास्ति की रकम की शुद्धता के संबंध में स्वयं का समाधान करेगा और यदि उसका यह समाधान हो जाए कि ऐसी रकम सही रूप से संदत्त की जा चुकी है, तदर्थक आदेश पारित करेगा ।

(3) घोषणा का परीक्षण करने पर यदि कराधान प्राधिकारी का, स्वामी द्वारा संदत्त की गई शास्ति की रकम की शुद्धता के संबंध में समाधान नहीं होता है तो वह यान के स्वामी को या उसके सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता को सुनवाई का अवसर प्रदान करने के पश्चात् घोषणा के अंतर्गत आने वाली कालावधि के लिए शास्ति की रकम नियम करते हुए, आदेश पारित करेगा ।

(4) अधिनियम तथा इन नियमों के अधीन अधिकथित कालावधि के भीतर, यदि मोटरयान का स्वामी कर संदत्त करने में असफल रहता है तो कराधान प्राधिकारी, यथासंभव शीघ्र, किंतु ऐसी कालावधि का अवसान होने के पश्चात् पंद्रह दिन के भीतर स्वप्रेरणा से शास्ति की रकम नियत करने के लिए कार्यवाही करेगा और कर, शास्ति और ब्याज की रकम वसूल करने के लिए अविलंब कार्यवाही प्रारंभ करेगा ।

11. मोटरयान का उपयोग न किए जाने की सूचना के लिए प्रक्रिया - - (1) अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (1) के खण्ड (एक) के प्रयोजन के लिए, स्वामी प्ररूप “ट” में, उपयोग न किए जाने की कालावधि प्रारंभ होने के पूर्व उपयोग न किए जाने की सूचना संबंधित कराधान प्राधिकारी को देगा ।

[(2) वाहन के उपयोग न किये जाने की सूचना कराधान प्राधिकारी के कार्यालय में नकद जमा की गई राशि की रसीद या चालान की प्रति जो कि किसी शासकीय कोषालय, उपकोषालय या शासकीय कार्य करने हेतु अधिकृत बैंक में जमा कराई गई हो, के साथ दी जावेगी । एक माह तक के लिए समर्पण पर रूपये 200.00, एक माह से दो माह के लिए समर्पण पर रूपये 800.00 तथा दो माह से अधिक के लिए समर्पण रूपये 1000.00 प्रति माह की दर से राशि का चालान/ रसीद वाहन स्वामी या उसके प्राधिकृत एजेन्ट द्वारा कराधान प्राधिकारी को प्रस्तुत की जावेगी ।]

(3) स्वामी, उपयोग न किए जाने की सूचना के साथ, निम्नलिखित दस्तावेज जमा करेगा:-

(एक) रजिस्ट्रीकरण प्रमाण पत्र,

(दो) कर टोकन,

(तीन) कर का प्रमाण-पत्र, यदि कोई हो,

(चार) उपयुक्तता का प्रमाण-पत्र,

(पाँच) बीमा प्रमाण-पत्र, और

(छह) यान का अनुज्ञापत्र, यदि कोई हो, और उसके साथ अनुज्ञापत्र मंजूर करने वाले प्राधिकारी का [प्रारूप ट-1 में आक्षेप न होने का प्रमाण- पत्र];

परंतु उपरोक्त खण्ड (छ:) में निर्दिष्ट आक्षेप न होने का प्रमाण-पत्र, निम्नलिखित के मामले में अपेक्षित नहीं होगा - -

(क) [माल यान या प्राइवेट सेवा यान], और

(ख) लोक सेवा यान, यदि अनुज्ञापत्र किसी न्यायालय, अधिकरण या प्राधिकारी द्वारा रद्द या निलंबित किया गया है ।

(4) उपयोग न किए जाने की सूचना में उस स्थान का, जहाँ उपयोग न किए जाने की कालावधि के दौरान मोटरयान रखा जाएगा, प्ररूप “ट” में समुचित स्थान में, डाक का पता विनिर्दिष्ट किया जाएगा ।

5) कराधान प्राधिकारी, स्वंय का यह समाधान करने के पश्चात् कि उपयोग न किए जाने की सूचना सभी प्रकार से पूर्ण है तथा उसके साथ नकद रसीद और उपनियम (2) और (3) में निर्दिष्ट दस्तावेज, यथाक्रम में लगे हैं, सूचना प्रस्तुत करने वाले व्यक्ति को अभिस्वीकृति जारी करेगा:

[परंतु यदि मोटरयान का उपयोग न किए जाने की सूचना के साथ उपनियम (3) के खण्ड (6) में निर्दिष्ट “आक्षेप न होने का प्रमाण-पत्र” संलग्न नहीं किया जाता है तो कराधान प्राधिकारी अपना स्वयं का समाधान कर लेने के पश्चात् कि लोक यान का उपयोग न किए जाने के लिए पर्याप्त कारण है, आवेदित कालावधि से अनधिक कालावधि के लिए अभिस्वीकृति जारी कर सकेगा :

परंतु यह और कि कराधान प्राधिकारी स्वामी को सुनवाई का अवसर दिए बिना आवेदित कालावधि से कम कालावधि के लिए यान का उपयोग न किया जाना अनुज्ञात नहीं करेगा ।]

[परंतु यह और कि किसी वाहन को एक कलेण्डर वर्ष में 45 दिवस से अधिक समय के समर्पण की अवधि नहीं दी जा सकेगी । उक्त अवधि से अधिक समय के लिये एक साथ या टुकड़ों में विशेष परिस्थितियों में केवल परिवहन आयुक्त द्वारा लिपिबद्ध कारणों सहित की अनुमति दी जा सकेगी ।]

(6) उपयोग न किए जाने की कोई सूचना, जो अपूर्ण हो या इस नियम के उपनियम (1) से (4) तक की अपेक्षाओं का समाधान न करती हो, उसे प्रस्तुत करने वाले व्यक्ति को लौटाई जा सकेगी और ऐसे मामले में यह समझा जाएगा कि कोई सूचना दी ही नहीं गई है ।

(7) कराधान प्राधिकारी द्वारा उपनियम (5) के अधीन उपयोग न किए जाने की प्रत्येक ऐसी सूचना की, जिसकी अभिस्वीकृति दी गई है, प्रविष्टि कराधान प्राधिकारी के कार्यालय में प्ररूप “ठ” में रखे गए एक रजिस्टर में क्रमानुसार की जाएगी और कराधान प्राधिकारी द्वारा इस निमित्त लिखित में प्राधिकृत किसी अधिकारी द्वारा उसमें की गई प्रत्येक प्रविष्टि पर आद्याक्षर किए जाएंगे, कराधान प्राधिकारी प्रत्येक मास के अंतिम दिन रजिस्टर की जांच स्वयं करेगा और उसमें की गई अंतिम प्रविष्टि के नीचे हस्ताक्षर करेगा ।

(8) प्रत्येक मास की समाप्ति पर कराधान प्राधिकारी ऐसे समस्त मोटरयानों की, जिनके संबंध में उपयोग न किए जाने की सूचना की अभिस्वीकृति दी गई है और मास के दौरान रजिस्टर में प्रविष्टि की गई है, एक सूची तैयार करवाएगा और उसकी प्रतियाँ परिवहन विभाग के ऐसे अधिकारियों को प्रदाय करेगा जिन्हें परिवहन आयुक्त लिखित में आदेश द्वारा विनिर्दिष्ट करे ।

(9) कराधान प्राधिकारी उपयोग न किए जाने के लिए रखे गए किसी मोटरयान का निरीक्षण कर सकेगा और ऐसे समस्त मोटरयानों का निरीक्षण ऐसे अधीनस्थ अधिकारी से, जो सहायक उप परिवहन निरीक्षक की पद श्रेणी से नीचे का न हो, कराएगा और जब भी ऐसे निरीक्षक किए जाते हैं तो उनकी रिपोर्ट की प्रविष्टि उपनियम (7) में निर्दिष्ट रजिस्टर में की जाएगी ।

(10) स्वामी मोटरयान को विनिर्दिष्ट स्थान से किसी अन्य स्थान पर संबंधित कराधान प्राधिकारी की पूर्व लिखित अनुमति के सिवाय नहीं हटाएगा और यदि मोटरयान को इस उपनियम के उल्लंघन में हटाया जाता है तो स्वामी कर की किसी वापसी का हकदार नहीं होगा ।

(11) यदि स्वामी पहले से अनुज्ञात उपयोग न किए जाने की कालावधि को बढ़ाने का इच्छुक है तो उपयोग न किए जाने की नई सूचना प्रस्तुत करेगा और कराधान प्राधिकारी द्वारा ऐसी सूचना पर यह मानकर कार्यवाही की जाएगी कि नई सूचना दी गई है और इस नियम के उपनियम (1) से (9) तक के उपबंध उसे लागू होंगे ।

(12) स्वामी उस कालावधि के जिसके लिए उपयोग न किए जाने की सूचना की अभिस्वीकृति दी गई थी, अंतिम दिन के पश्चात् प्रारंभ होने वाली कालावधि के लिए कर संदाय करने का दायी होगा, इस बात के होते हुए भी कि चाहे उसने कराधान प्राधिकारी के पास से जमा किए गए दस्तावेजों का कब्जा ऐसी कालावधि समाप्त होने के पश्चात् प्राप्त कर लिया हो या नहीं ।

12. अनुज्ञापत्र का उपयोग न किए जाने की सूचना के लिए प्रक्रिया - - [(1) नियम 11 में अन्तर्विष्ट किसी बात के होते हुए भी, मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 72, 74 या 88 (9) के अधीन मंजूर किए गए क्रमश: मंजिली गाड़ी ठेका गाड़ी या ऑल इंडिया टूरिस्ट परमिट का धारक अपना अनुज्ञा पत्र प्ररूप “5” में आवेदन–पत्र के साथ निम्नलिखित कारणों में से किसी भी कारण से कराधान प्राधिकारी के पास जमा कर सकेगा :-

(क) यानों की यांत्रिकी का (दुर्घटना या अन्य कारण से) ठप्प हो जाना या उसकी मरम्मत और अनुरक्षण;

(ख) भारी वर्षा या अन्य कारण से मार्ग का मोटर चलाए जाने योग्य नहीं होना;

(ग) किसी न्यायालय, अधिकरण या प्राधिकारी के आदेश के कारण प्रचालन न होना;

(घ) होली के त्यौहार के कारण प्रचालन न होना;

(ड) निर्वाचन कार्य या विधि और व्यवस्था संबंधी कर्त्तव्य की दृष्टि से यान के अधिग्रहण के कारण प्रचालन न हो :

परंतु एक या एक से अधिक आरक्षित यान रखने वाले मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञा पत्र के धारक को ऊपर खण्ड (क) में वर्णित आधार पर ऐसा अनुज्ञा-पत्र जमा करने के लिए अनुज्ञा नहीं दी जाएगी:

परंतु यह और भी कि अनुज्ञा- पत्र धारक अनुज्ञा- पत्र का उपयोग नहीं किए जाने की सूचना, यदि वह ऐसा चाहता है तो, तीन मास के लिए मोटरयान कर अग्रिम में चुकाने के पश्चात्, तीन मास में एक बार प्ररूप “5” में दे सकेगा ।]

[(1-क) अनुज्ञा-पत्र धारक, अनुज्ञा-पत्र का उपयोग न किए जाने की प्ररूप “ड” में घोषणा के साथ अधिनियम की प्रथम अनुसूची की मद- चार की उप-मद (ङ) के अनुसार मोटरयान कर अग्रिम में चुकाएगा।]

[(2) उपनियम (1) में निर्दिष्ट आवेदन के साथ कराधान प्राधिकारी के कार्यालय में जमा की गई राशि की नगद रसीद या चालान की प्रति जो कि किसी शासकीय कोषालय, उपकोषालय या बैंक जो कि शासकीय कार्य करने के लिये प्राधिकृत हो, में जमा की गई हो, एक माह तक के लिये समर्पण के लिये रूपये 200.00 एक माह से 2 माह के समर्पण के लिये रूपये 800.00 तथा 2 माह से अधिक के समर्पण के लिये रूपये 1000.00 प्रतिमाह की रसीद/ चालान परमिटधारी या उसके प्राधिकृत एजेन्ट द्वारा कराधान प्राधिकारी को प्रस्तुत की जावेगी ।]

(3) अनुज्ञापत्र धारक, अनुज्ञापत्र का उपयोग न किए जाने [के आवेदन] के साथ निम्नलिखित दस्तावेजें जमा करेगा :-

(एक) कर का प्रमाण पत्र; और

(दो) उपनियम (1) के खण्ड (क) तथा (ख) की दशा में अनुज्ञापत्र मंजूर करने वाले प्राधिकारी से प्ररूप [ड-1] में आक्षेप न होने का प्रमाण-पत्र; या

(तीन) उपनियम (1) में खण्ड (ग) की दशा में आदेश की प्रमाणित प्रति ।

(4) कराधान प्राधिकारी, स्वयं का वह समाधान करने के पश्चात् कि अनुज्ञापत्र का उपयोग न किए जाने के लिए आवेदन-पत्र सभी प्रकार से पूर्ण है और उपनियम (2) और (3) की अपेक्षाओं की पूर्ति कर दी गई है, आवेदन पत्र प्रस्तुत करने वाले व्यक्ति को अभिस्वीकृति जारी करेगा:

[परंतु यदि अनुज्ञापत्र को जमा करने के लिए आवेदन के साथ उपनियम (3) के खण्ड (दो) में निर्दिष्ट “आक्षेप न होने का प्रमाण पत्र” संलग्न नहीं किया जाता है और यदि जाँच के पश्चात् कराधान अधिकारी का यह समाधान हो जाता है कि अनुज्ञापत्र को जमा करने के लिए उपनियम (1) में विनिर्दिष्ट कारणों में से कोई कारण विद्यमान है तो वह आवेदित कालावधि से अनधिक कालावधि के लिए अभिस्वीकृति जारी कर सकेगा:

परंतु यह और कि कराधान प्राधिकारी धारक को सुनवाई का अवसर दिए बिना आवेदित कालावधि से कम कालावधि के लिए अनुज्ञापत्र को जमा करना अनुज्ञात नहीं करेगा ।]

(5) कोई आवेदन पत्र जो अपूर्ण है या इस नियम के उपनियम (1) से (3) तक की अपेक्षाओं का समाधान नहीं करता है, उसे प्रस्तुत करने वाले व्यक्ति को लौटाया जा सकेगा और उस मामले में यह समझा जाएगा कि ऐसा आवेदन पत्र प्रस्तुत ही नहीं किया गया है ।

(6) कराधान प्राधिकारी द्वारा उपनियम (4) के अधीन अभिस्वीकृति प्रत्येक आवेदन पत्र की प्रविष्टि कराधान प्राधिकारी के कार्यालय में प्ररूप “उ” में रखे गए रजिस्टर में क्रमानुसार की जाएगी और उसमें की गई प्रत्येक प्रविष्टि की कराधान प्राधिकारी द्वारा उस दिन जांच पड़ताल की जाएगी और आद्याक्षरित की जाएगी ।

(7) प्रत्येक मास की समाप्ति के पश्चात् कराधान प्राधिकारी इस नियम के अधीन जमा किए गए समस्त अनुज्ञापत्रों की सूची तैयार कराएगा और मास के दौरान रजिस्टर में प्रविष्टि कराएगा और उसकी प्रतियाँ परिवहन विभाग के ऐसे अधिकारियों को प्रदाय की जाएगी जिन्हें कि परिवहन आयुक्त लिखित आदेश द्वारा विनिर्दिष्ट करे ।

(8) यदि अनुज्ञापत्र धारक अनुज्ञापत्र के जमा करने की पूर्व से अनुज्ञात कालावधि को बढ़ाने का इच्छुक है तो वह नवीन आवेदन पत्र देगा और कराधान प्राधिकारी ऐसे आवेदन पत्र पर यह मानकर कार्यवाही करेगा कि नया आवेदन पत्र दिया गया है और उसे इस नियम के उपनियम (1) से (7) तक उपबंध इस संबंध में लागू होंगें ।

(9) अनुज्ञा पत्र धारक उस कालावधि के जिसके लिए अनुज्ञा पत्र के उपयोग न किए जाने की सूचना की अभिस्वीकृति दी गई थी, अंतिम दिन के पश्चात् प्रारंभ होने वाली कालावधि के लिए मूल दर से कर का संदाय करने का दायी होगा, इस बात के होते हुए भी कि चाहे उसने कराधान प्राधिकारी के पास से जमा किए गए अनुज्ञा पत्र का कब्जा ऐसी कालावधि समाप्त होने के पश्चात् प्राप्त कर लिया हो या नहीं ।

(10) इस नियम में की कोई भी बात मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 87 के अधीन मंजूर किए गए किसी अस्थाई अनुज्ञा पत्र या धारा 89 की उपधारा (8) के अधीन मंजूर किए गए किसी विशेष अनुज्ञा पत्र को लागू नहीं होगी ।

(11) जहाँ कोई अनुज्ञा पत्र इस नियम के अधीन जमा किए जाएँ वहाँ अनुज्ञा पत्र धारक अनुज्ञा पत्र के मार्ग पर, इस कालावधि के दौरान जिसके लिए अनुज्ञा पत्र जमा किया गया है, सेवा का प्रचालन नहीं करेगा ।

(12) जहाँ कराधान प्राधिकारी द्वारा अनुज्ञा-पत्र जमा किया जाना अनुज्ञात किया जाए वहाँ अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (1) के खण्ड (दो) के अधीन कर की वापसी की गणना करने के प्रयोजनों के लिए कर की निचली दर ही प्रथम अनुसूची की मद चार की उपमद (ङ) में अतिरिक्त बस के लिए विनिर्दिष्ट कर की दर होगी ।

13.अकल्पित परिस्थितियों में मोटरयान के न चलाए जाने की सूचना देने के लिए प्रक्रिया आदि - -

(1) अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (1) के परन्तु)क के अधीन कर की वापसी का दावा करने के प्रयोजन के लिए, मोटरयान के स्वामी द्वारा या सम्यक् रूपेण प्राधिकृत उसके अभिकर्ता द्वारा कराधान प्राधिकारी को मोटरयान के मार्ग पर न चलाए जाने के संबंध में एक सूचना, प्ररूप “ण” में दी जाएगी ।

(2) ऐसी वापसी केवल तभी अनुज्ञेय होगी जबकि निम्नलिखित कारणों में से किसी कारण से मार्ग पर मोटरयान का चलाया जाना संभव नहीं रहा हो :-

(एक) बाढ़, भूकम्प या कोई अन्य प्राकृतिक विपत्ति के कारण के परिणामस्वरूप मार्ग पर बाधा उत्पन्न हो गई हो;

(दो) दण्ड प्रक्रिया संहिता, 1973 (1974 का सं. 2) की धारा 144 के अधीन किसी प्रतिबंधात्मक आदेश या अन्य विधि और व्यवस्था की स्थिति के कारण; या

(तीन) जहाँ मोटरयान (किसी दुर्घटना में क्षतिग्रस्त हो गया) किसी दुर्घटना के कारण चलाए जाने योग्य नहीं रह गया हो ।

(3) मार्ग पर मोटरयान के न चलाए जाने की सूचना यथासंभव शीघ्र दी जायेगी किन्तु ऐसी सूचना उसके न चलाये जाने की कालावधि प्रारंभ होने की तारीख से, दस दिन के पश्चात् नहीं दी जाएगी और ऐसी सूचना के साथ निम्नलिखित संलग्न किए जाएंगे:-

(एक) दस रूपए की नगद रसीद;

(दो) उपनियम (2) के खण्ड (एक) की दशा में, लोक निर्माण विभाग सड़क के प्रभारी अनुविभाअगीय अधिकारी से मार्ग, यान के चलाए जाने के लिए अनुपयुक्त होने संबंधी [प्ररूप-ण-1 में प्रमाण पत्र]; या

(तीन) यथास्थिति, उपनियम (2) के खण्ड (दो) की दशा में, आदेश की एक प्रति अथवा अनुविभागीय अधिकारी पुलिस अथवा उपखण्ड मजिस्ट्रेाट द्वारा प्रतिबंधात्मक आदेश की उद्घोषणा को अथवा विधि और व्यवस्था की उस स्थिति को, अभिप्रमाणित करने वाला प्रमाण पत्र जिसके कि परिणामस्वरूप मार्ग पर यान न चलाया जा सकता हो; या

(चार) उपनियम (2) के खण्ड (तीन) की दशा में, पुलिस में दर्ज कराई गई प्रथम सूचना रिपोर्ट की एक प्रति बीमा कंपनी को क्षतिपूर्ति के लिए किए गए दावे की सूचना की एक प्रति के साथ:

[परंतु राज्य सरकार, विशेष परिस्थितियों में तथा ऐसे कारणों से जो लेखबद्ध किए जाएंगे, साधारण आदेश द्वारा, मोटरयान के न चलाए जाने की सूचना प्रस्तुत करने के लिए पूर्वोक्त कालावधि को बढ़ा सकेगी ।]

(4) कराधान प्राधिकारी स्वयं का यह समाधान करने के पश्चात् कि मार्ग पर मोटरयान न चलाए जाने की सूचना सभी प्रकार से पूर्ण है और उपनियम (3) की अपेक्षाओं की पूर्ति कर दी गई है, सूचना प्रस्तुत करने वाले व्यक्ति को अभिस्वीकृति जारी करेगा ।

(5) कोई सूचना जो अपूर्ण है या उपनियम (1) से (3) तक की अपेक्षाओं की पूर्ति नहीं करती है, प्रस्तुत करने वाले व्यक्ति को वापस की जा सकेगी और उस दशा में यह समझा जायेगा मानो कि ऐसी सूचना प्रस्तुत ही नहीं की गई।

(6) उपनियम (4) के अधीन कराधान प्राधिकारी द्वारा अभिस्वीकृत की गई प्रत्येक सूचना की कराधान प्राधिकारी कार्यालय में प्ररूप “त” में रखे गए रजिस्टर में क्रमानुसार प्रविष्टि की जाएगी और उसमें की गई प्रत्येक प्रविष्टि की कराधान प्राधिकारी द्वारा उसी दिन जांच पड़ताल की जाएगी और वह आद्याक्षरित की जाएगी ।

(7) इस नियम में की गई कोई भी बात मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 87 के अधीन मंजूर किए गए किसी अस्थाई अनुज्ञा पत्र या धारा 88 की उपधारा (8) के अधीन मंजूर किए गए किसी विशेष अनुज्ञा पत्र को लागू नहीं होगी ।

(8) जहाँ मार्ग पर मोटरयान न चलाए जाने की सूचना उपनियम (4) के अधीन अभिस्वीकृत की जाए, वहाँ धारा 14 की उपधारा (1) के परंतुक के अधीन कर की वापसी नियम 14 में निर्धारित रीति में की जा सकेगी ।

(9) अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (1) के परंतुक के अधीन कर की वापसी एक वर्ष में तीस दिन तक सीमित रहेगी :

परन्तु उक्त परंतुक के अधीन किसी अनुज्ञा पत्र धारक को जो मार्ग पर आरक्षित मंजिली गाड़ी चलाता हो, उपधारा (2) के खण्ड (तीन) के अन्तर्गत आने वाले किसी मामले में कोई वापसी ग्राह्य नहीं होगी।

[परंतु यह और कि नियम 13-क के उपनियम (2) के अधीन आने वाले मामले में यदि जांच के पश्चात् कराधान प्राधिकारी का यह समाधान हो जाता है कि आंशिक मार्ग पर मोटर चलाए जाने के लिए अनुपयुक्तता तीस दिन के अधिक की कालावधि के लिए जारी रही है तो वह ऐसी संपूर्ण कालावधि के लिए जिसके दौरान आंशिक मार्ग मोटर चलाए जाने के लिए अनुपयुक्त रहा, कर की वापसी अनुज्ञात कर सकेगा:

परन्तु यह भी कि नियम 13-क के उपनियम (2) के अधीन आने वाले मामले में 120 दिन से अधिक की कालावधि के लिए कर की वापसी उपपरिवहन आयुक्त/ परिवहन आयुक्त के पूर्व अनुमोदन से अनुज्ञात की जाएगी।]

[13-क. मार्ग के भाग पर अनुज्ञा पत्र आदि का उपयोग न किए जाने की सूचना देने के लिए प्रक्रिया—(1) यदि किसी ऐसे मार्ग की बाबत् जो वर्षाकाल में आंशिक रूप से यान चलाए जाने के लिए अनुपयुक्त रहता है और उस मार्ग के संबंध में स्वीकृत मंजिली गाड़ी अनुज्ञा पत्र में, इस आशय की शर्त अंतर्विष्ट है कि अनुज्ञा पत्र उसमें विनिर्दिष्ट कालावधि के दौरान, मार्ग के केवल विनिर्दिष्ट भाग के लिए वैध रहेगा तो ऐसे अनुज्ञा पत्र के अन्तर्गत आने वाले यान की बाबत् ऐसे विनिर्दिष्ट कालावधि के दौरान देय कर की गणना यान चलाए जाने के अनुपयुक्त भाग को छोड़कर निकाले गए स्लेब के अनुसार की जाएगी ।

(2) यदि किसी मंजिली गाड़ी का अनुज्ञा पत्र किसी ऐसे मार्ग की बाबत् मंजूर किया गया है जिसका कि एक भाग वर्षा ऋतु में यान चलाए जाने के लिए अनुपयुक्त रहता है और अनुज्ञा पत्र में आंशिक मार्ग पर चलाए जाने को विनियमित करने वाली कोई शर्त अंतर्विष्ट नहीं है तो नियम 13 में अंतर्विष्ट प्रक्रिया जहाँ तक लागू हो सकती हो, मोटर चलाए जाने के लिए अनुपयुक्त आंशिक मार्ग पर यान का प्रचालन न किए जाने की प्रज्ञापना देने के लिए लागू होगी ।]

14. वापसी के लिए प्रक्रिया -- (1) कर की वापसी की स्वीकृति कराधान प्राधिकारी या ऐसे अधिकारी द्वारा की जायेगी जिसे राज्य सरकार इस निमित्त प्राधिकृत करे ।

(2) अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (1) के अधीन कर की वापसी का दावा करने वाला कोई व्यक्ति प्ररूप “थ” में एक आवेदन पत्र उस कराधान प्राधिकारी को जिसे कर का मूलत: संदाय किया गया था, निम्नलिखित संलग्न कर प्रस्तुत करेगा :-

(क) कर के संदाय का सबूत मूल रूप में या उसकी प्रमाणित प्रति; और

(ख) कराधान प्राधिकारी द्वारा यथास्थिति नियम 11 के उपनियम (5) या नियम 12 के उपनियम (4) या नियम 13 के उपनियम (4) के अधीन जारी की गई अभिस्वीकृति; या

(ग) जीवन काल कर की वापसी के मामले में धारा 14 की उपधारा (2) के खण्ड (क), (ख) या (ग) में यथा अपेक्षित सबूत;

[(घ) नियम 13 के उपनियम (3) के अधीन सूचना के साथ प्रस्तुत किए जाने के लिए अपेक्षित प्रमाण- पत्र या आदेश की प्रति, यदि उसे सूचना के साथ प्रस्तुत नहीं किया गया था ।]

(3) उपनियम (1) के अधीन आवेदन पत्र प्राप्त होने पर कराधान प्राधिकारी आवेदन–पत्र में अंतर्विष्ट विशिष्टियों पर उसके संलग्नकों को सत्यापित करेगा और यदि यह समाधान हो जाता है कि :-

(क) आवेदन पत्र में अंतर्विष्ट विशिष्टियाँ सही हैं,

(ख) धारा 14 की कालावधि (1) के खण्ड (एक) के अधीन व दावा किए जाने के मामले में उपयोग न किए जाने की कालावधि के दौरान मोटरयान का उपयोग नहीं किया था, और

(ग) इन नियमों में अधिकथित कर की वापसी के लिए समस्त शर्ते पूरी हो गई हैं तो वह अधिनियम की धारा 14 के उपबंधों के अध्यधीन रहते हुए, यदि वह ऐसा करने के लिए सक्षम है, उपनियम (5) में अधिकथित सीमा तक वापसी स्वीकृत करेगा और स्वामी को प्ररूप ‘‘द’’ में एक वापसी वाउचर जारी करेगा ।

(4) यदि कराधान प्राधिकारी कर की वापसी स्वीकृत करने के लिए स्वयं सक्षम नहीं है तो कराधान प्राधिकारी द्वारा वापसी का आवेदन- पत्र, अपनी रिपोर्ट के साथ ऐसी वापसी स्वीकृत करने के लिए सक्षम अधिकारी को अग्रेषित किया जाएगा और ऐसे अधिकारी से आवेदन पत्र पर आदेश प्राप्त होने पर कराधान प्राधिकारी ऐसे आदेश के अनुसार स्वामी को वापसी वाउचर प्ररूप “द” में जारी करेगा ।

(5) कर की वापसी निम्नलिखित दर से देय होगी :-

(क) तिमाही, छ: माही या वर्ष या उसके भाग के दौरान मोटरयान का उपयोग न किए जाने के मामले में -

(एक) जहाँ यान का, उस संपूर्ण तिमाही, छ: माही या वर्ष के दौरान, जिसके लिए कर का संदाय किया गया है, उपयोग नहीं किया जाता है ।      100 प्रतिशत

(दो) जहाँ यान का उस सम्पूर्ण तिमाही, छ: माही वर्ष के दौरान, जिसके लिए कर का संदाय किया गया है, किसी संपूर्ण मास या मासों में उपयोग नहीं किया जाता हैं ।      उपयोग न किए जाने वाले भागों की संख्या……….X 100 प्रतिशत मासों की संख्या जिनके लिये कर का संदाय किया गया था।

(ख) उस मामले में जहाँ यान, तिमाही के लिए कर का संदाय किए जाने के पश्चात्, परिवर्तन आदि के कारण निचली दर पर कर का संदाय करने के लिए बाद में दायित्व आकर्षित करता है :-

(एक) एक मास की कालावधि के लिए                  (संदत्त की गई कर की रकम में से शोध्य कर की तिमाहीं दरों को घटाकर यदि यान तिमाही के प्रारंभ से ही कर को निचली दर से संदाय करने का दायी हुआ होता) X 1/3

(दो) दो मासों की कालावधि के लिए                   (संदत्त की गई कर की रकम में से शोध्य कर की तिमाही दर को घटाकर यदि यान तिमाही के प्रारंभ से ही कर को निचली दर से संदाय करने का दायी हुआ होता) X 2/3

(ग) उस मामले में, जहाँ जीवन काल कर का संदाय किया गया है                   धारा 14 की उपधारा (2) में अधिकथित किएअनुसार,

[(घ-1) नियम 12 के अनुसार अनुज्ञा पत्र का उपयोग न किए जाने के मामले में                   (मास के लिये संदत्त की गई कर की रकम में से अनुज्ञा पत्र के उपयोग न किए जाने के कारण यान को लागू निचली स्लेब या कर को घटाकर) गुणित (X) मास के दौरान अनुज्ञा पत्र के उपयोग न किए जाने के ग्राह्य दिन भागित (÷) मास के कुल दिनों की संख्या ।

(घ-2) नियम 13 के अनुसार मार्ग का प्रचलन न किए जाने के मामले में (मास के लिये संदत्त की गई कर की रकम में से अनुज्ञा पत्र के उपयोग न किए जाने के कारण यान को लागू निचली स्लेब या कर को घटाकर) गुणित (X) मास के दौरान अनुज्ञा पत्र के उपयोग न किए जाने के ग्राह्य दिन भागित (÷) मास के कुल दिनों की संख्या ।

(ङ) भूल से या आधिक्य में संदाय की गई रकम के मामले में           भूल से या आधिक्य में संदाय की गई संपूर्ण रकम जो देय नहीं थी :

परंतु कोई वापसी उस दशा में स्वीकृत नहीं की जाएगी :-

(क) यदि वापसी के लिए आवेदन-पत्र, ऐसी कालावधि के जिसके कि संबंध में यान का उपयोग नहीं किए जाने के कारण वापसी के लिए दावा किया गया हो, अवसान होने के दो मास के भीतर प्रस्तुत नहीं किया गया हो ।

(ख) यदि वापसी के लिए आवेदन-पत्र, उस तारीख के, जिस पर कि स्वामी कर की निचली दर का हकदार हो गया था, दो मास के भीतर प्रस्तुत नहीं किया गया हो;

(ग) यदि जीवन काल कर की वापसी के लिए आवेदन पत्र उस तारीख से जिसको कि मोटरयान राज्य से स्थाई रूप से हटाया गया हो, विनिर्दिष्टस हो गया हो या परिवर्तित हो गया हो या परिवहन यान के रूप में उपयोग किया जाने लगा हो, दो मास के भीतर प्रस्तुत नहीं किया गया हो;

(घ) यदि अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (1) के परंतुक के अधीन वापसी के लिए आवेदन–पत्र मार्ग पर मोटरयान के प्रचालन न किए जाने के प्रारंभ से दो मास के भीतर प्रस्तुत नहीं किया गया हो;

(ङ) यदि भूल से या आधिक्य में संदाय किए गए कर की वापसी के लिए आवेदन पत्र ऐसे संदाय से तीन वर्ष के भीतर प्रस्तुत नहीं किया गया हो;

(च) परिवहन यान से भिन्न मोटरयान की दशा में यदि ऐसी कालावधि, जिसके दौरान मोटरयान उपयोग में नहीं हो पा रहा है, एक तिमाही से कम हो;

[(छ) परिवहन यान की दशा में यदि ऐसी कालावधि जिसके दौरान नियम 11 के अनुसार मोटरयान उपयोग में नहीं रहा है, एक माह से कम हो;]

(ज) उस दशा में जहाँ कर संदाय, उसका संदाय न किए जाने का पता चलने के पश्चात् या उसकी वसूली के लिए कारण बताओ सूचना या मांग की सूचना जारी करने की कार्यवाही प्रारंभ होने के पश्चात् किया गया हो;

(झ) किसी मोटरयान के संबंध में किसी ऐसी कालावधि के लिए, जिसके दौरान उसे माल या यात्रियों या व्यक्तियों के परिवहन को प्रतिषेध करने वाली या विनियमित करने वाली किसी विधि, आदेश या विनिमय का उल्लंघन करने के लिए निरूद्ध किया गया था;

(ञ) उस दशा में जबकि स्वामी अधिनियम की धारा 14 की उपधारा (2) के खण्ड (क), (ख) या (ग) में अधिकथित शर्तो के अनुसार कराधान प्राधिकारी के समाधानप्रद रूप से साक्ष्य प्रस्तुत करने में असफल रहा हो;

(ट) उस दशा में जबकि मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 87 के अधीन जारी किए गए अस्थाई अनुज्ञा पत्र या धारा 88 की उपधारा (8) के अधीन जारी किए गए विशेष अनुज्ञा पत्र के लिए कर का संदाय किया गया हो, सिवाय जबकि किसी प्राधिकारी, अधिकरण या न्यायालय द्वारा अनुज्ञा पत्र को ही निरस्त या निलंबित कर दिया गया हो ।

[(6) यदि कराधान प्राधिकारी या कर की वापसी स्वीकृत करने वाले सक्षम अधिकारी को यह प्रतीत होता है कि आवेदित वापसी स्वीकृति योग्य नहीं है तो ऐसा प्राधिकारी अथवा अधिकारी, स्वामी को सुनवाई का अवसर देने के पश्चात् एक लिखित आदेश पारित करेगा और उसे स्वामी को संसूचित करेगा ।]

(7) कोई व्यक्ति, जिसे इस नियम के उपनियम (3) या (4) के अधीन वापसी बाउचर जारी किया गया हो, संबंधित कोषालय में उसके प्रस्तुत करने पर उसमें वर्णित राशि के संदाय के लिये हकदार होगा ।

(8) सभी वापसी वाउचरों को उनके जारी किये जाने के पूर्व प्रति पर्ण सहित पचास-पचास वाउचरों के गुणन में जिल्दबद्ध किया जाएगा और उन्हें मशीन द्वारा क्रम अनुसार संख्यांकित किया जाएगा, वाउचर जारी करने वाला काराधान प्राधिकारी उसका प्रतिवर्ण प्रतिधारित करेगा और उसे अपने कार्यालय में अभिलेख के लिए परिरक्षित करेगा ।

(9) कराधान प्राधिकारी उस रकम को जिसके लिए कि इस नियम के उपनियत (3) या (4) के अधीन वापसी का दावा अनुज्ञात किया गया है, स्वामी के लिखित अनुरोध पर [स्वामी द्वारा कर की बकाया शास्ति या शोध्य ब्याज या उसके द्वारा आगामी संदेय कर के प्रति समायोजित किया जा सकेगा ]।

(10) कराधान प्राधिकारी प्ररूप “ध” में कर की वापसी का एक रजिस्टर बनाए रखेगा और ऐसी प्रत्येक रकम की, जिसके लिए उपनियम (3) या (4) के अधीन कोई वाउचर जारी किया है या उपनियम (9) के अधीन आगामी संदाय के प्रति समायोजन अनुज्ञात किया है, मांग ओर वसूली, के रजिस्टर में प्रविष्टि करने के अतिरिक्त ऐसे रजिस्टर में भी प्रविष्टि अंकित की जाएगी ।

(15). कर आदि की वसूली -- (1) यदि कोई स्वामी इस अधिनियम या इन नियमों के अधीन शोध्य कर, शास्ति या ब्याज का संदाय करने में असफल रहता है तो कराधान प्राधिकारी, जिसे ऐसी रकम देय हो, देय राशि के लिए स्वामी पर [प्रारूप ड-2] में एक सूचना तामील करेगा ।

(2) मध्यप्रदेश भू-राजस्व संहिता, 1959 (क्रमांक 20 सन् 1959) और उसके अधीन बनाए गए नियमों के उपबंध उपनियम (1) के अधीन जारी की गई सूचना की तामीली के संबंध में यथावश्यक परिवर्तन सहित लागू होगें ।

(3) यदि सूचना की तामील के सात दिन के भीतर सूचना में अंतर्विष्ट राशि का संदाय नहीं किया गया हो और उसका संदाय न किए जाने का युक्तियुक्त कारण नहीं दर्शाया गया हो, तो कराधान प्राधिकारी रकम वसूल करने के लिए भू-राजस्व की बकाया की भांति कार्यवाही कर सकेगा ।

(4) पूर्वोक्त उपनियमों में अन्तर्विष्ट किसी बात के होते हुए भी, कराधान प्राधिकारी अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (3) के अधीन देय राशि की वसूली के लिए कार्यवाही कर सकेगा।

16. प्रवेश और तलाशी के संबंध में प्रक्रिया - - (1) परिवहन विभाग का कोई अधिकारी जो परिवहन उप निरीक्षक से नीचे की श्रेणी का न हो या पुलिस विभाग का कोई अधिकारी जो पुलिस उपनिरीक्षक की श्रेणी से नीचे का न हो, अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (1) के अधीन शक्तियों का प्रयोग कर सकेगा ।

(2) अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (1) के अधीन ली गई समस्त तलाशियाँ दण्ड प्रक्रिया संहिता, 1973 (1974 का सं. 2) के उपबंधों के अनुसार ली जाएंगी ।

[17. कर का संदाय न किए जाने की दशा में मोटरयान के अभिग्रहण और निरोध के लिए प्रक्रिया - -(1) अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (3) के अधीन मोटरयान के अभिग्रहण का ज्ञापन और अभिग्रहण तथा निरोध का आदेश क्रमश: प्ररूप “प-1” तथा “प-2” में किया जावेगा और उसकी प्रतियाँ उस व्यक्ति पर तामील की जाएंगी जिसके कब्जे या नियंत्रण से ऐसा मोटरयान अभिग्रहित किया गया है तथा निरूद्ध रखा गया है ।

[(2) अभिग्रहित और निरूद्ध किया गया मोटरयान निकटतम पुलिस थाने पर अथवा कराधान प्राधिकारी या मोटरयान का अभिग्रहण करने वाले अधिकारी के विवेक पर किसी अन्य स्थान पर सुरक्षित अभिरक्षा में रखा जाएगा ।]

(3) निरूद्ध किए गए यान को उसका अभिग्रहण करने वाले अधिकारी या कराधान प्राधिकारी द्वारा शोध्य कर, शास्ति और ब्याज का संदाय कर दिए जाने पर छोड़ दिया जाएगा ।

(4) यदि कराधान प्राधिकारी द्वारा अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (6) के अधीन अधिहरण की कार्यवाही प्रारंभ की गई हो तो निरूद्ध किया गया यान उस अधिकारी या कराधान प्राधिकारी द्वारा, जिसने यान को अभिग्रहित किया है छोड़ा नहीं जाएगा ।

(5) कराधान प्राधिकारी, अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (7) के खण्ड (क) के अधीन यान के अधिहरण की कार्यवाही प्रारंभ करने के लिए सूचना प्ररूप “भ” में, अपराध का विचारण करने की अधिकारिता रखने वाले मजिस्ट्रेट को भेजेगा ।

18. अपील – (1) कोई व्यक्ति, जो इस अधिनियम या इन नियमों के अधीन किसी अधिकारी द्वारा पारित किए गए किसी आदेश से, जिसके विरूद्ध अपील होती है, व्यथित है, आदेश का ज्ञान होने की तारीख से तीस दिन के भीतर, परिवहन आयुक्त, मध्यप्रदेश ग्वालियर को अपील प्रस्तुत कर सकेगा।

(2) प्रत्येक अपील में:-

(क) प्रत्येक अपील लिखित में होगी; और

(ख) अपीलर्थी का नाम और पता विनिर्दिष्ट किया जाएगा;

(ग) उस यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक, यान की बैठक क्षमता, अनुज्ञा पत्र का प्रकार और मार्ग जिसके लिए अनुज्ञा पत्र मंजूर किया गया है, विनिर्दिष्ट किया जाएगा;

(घ) उस आदेश की तारीख विनिर्दिष्ट की जाएगी जिसके विरूद्ध यह (अपील) की गई हे;

(ड़) वह तारीख विनिर्दिष्ट की जाएगी जिसको कि अपीलार्थी को आदेश संसूचित किया गया था;

(च) तथ्यों का स्पष्ट कथन अंतर्विष्ट किया जाएगा;

(छ) अपीलार्थी द्वारा शोध्य या वापसी योग्य स्वीकृत की गई रकम विनिर्दिष्ट की जाएगी;

(ज) उस कर के संदाय का सबूत दिया जाएगा, जिसके संबंध में अपील प्रस्तुत की गई है;

(झ) वे आधार विनिर्दिष्ट किए जाएंगे, जिस पर अपील प्रस्तुत की गई है;

(ञ) प्रार्थना किए गए अनुतोषों का कथन यथावत किया जाएगा;

(ट) अपीलार्थी या उसके द्वारा इस निमित्त लिखित में सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता द्वारा हस्ताक्षर किए जाएंगे और निम्न लिखित प्ररूप में सत्यापित किया जाएगा, अर्थात :-

मैं ………………………………उपरोक्त अपील के ज्ञापन में नामित अपीलार्थी एतद्द्वारा, घोषणा करता हूँ कि उसमें कथित किए गए तथ्य मेरे सर्वोत्तम ज्ञान और विश्वास के अनुसार सत्य हैं ।

……………………………….

हस्ताक्षर

(3) अपील के ज्ञापन के साथ-

(एक) ज्ञापन की एक अतिरिक्त प्रति लगाई जाएगी ;

(दो) उस आदेश, जिसके विरूद्ध अपील की गई है, की मूल या प्रमाणित प्रति लगाई जाएगी; और

(तीन) फीस का संदाय किए जाने के प्रतीक स्वरूप पच्चीस रूपए की नकद रसीद या कोषालय चालान लगाया जाएगा ।

(4) अपील का ज्ञापन अपीलार्थी या उसके सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता द्वारा अपील प्राधिकारी को प्रस्तुत किया जाएगा । जब कोई अपील किसी, अपीलार्थी के सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता द्वारा प्रस्तुत की जाए तो उसके साथ ऐसे अभिकर्ता के रूप में उसकी नियुक्ति करने का सम्यक् रूप से स्टाम्पित किया हुआ प्राधिकार पत्र होगा ।

(5) यदि अपील के ज्ञापन में इस उपनियम (2) की सभी या किसी अपेक्षा का अनुपालन न किया गया हो तो अपील संक्षेपतया अस्वीकृत की जा सकेगी;

परंतु इस उपनियम के अधीन कोई अपील संक्षेपतया तब तक अस्वीकृत नहीं की जाएगी जब तक कि अपीलार्थी को अपील का ऐसा ज्ञापन उक्त उपनियम की अपेक्षाओं के अनुरूप लाए जाने के लिए संशोधित करने हेतु ऐसा अवसर न दिया हो जैसा कि अपील प्राधिकारी उचित समझे ।

(6) कोई अपील किसी ऐसे अन्य आधार पर भी, जो अपील प्राधिकारी द्वारा लेखबद्ध किया जाए संक्षेपतया अस्वीकृत की जा सकेगी :

परंतु इस उपनियम के अधीन किसी अपील को संक्षेपतया अस्वीकृत करने का आदेश पारित करने के पूर्व अपीलार्थी को सुनवाई का युक्तियुक्त अवसर दिया जाएगा ।

(7) यदि अपील प्राधिकारी अपील को संक्षेपतया अस्वीकृत नहीं करता है तो वह अपीलार्थी या उसके सम्येक रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता की सुनवाई के लिए तारीख नियत करेगा ।

(8) अपील प्राधिकारी किसी भी प्रक्रम पर अपील की सुनवाई किसी दूसरी तारीख तक के लिए स्थगित कर सकेगा ।

(9) यदि सुनवाई के लिए नियत की गई तारीख को या किसी अन्य ऐसी तारीख को, जिसके लिए सुनवाई स्थगित की गई हो, अपीलार्थी उक्त प्राधिकारी के समक्ष व्यक्तिगत रूप से या उसके सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता के माध्यम से उपस्थित नहीं होता है तो उक्त प्राधिकारी जैसा उचित समझे अपील खारिज कर सकेगा या उस पर एक पक्षीय विनिश्चय कर सकेगा ।

(10) जब कोई अपील उपनियम (9) के अधीन खारिज या एक-पक्षीय विनिश्चित की गई हो तो अपीलार्थी ऐसे आदेश की तारीख से तीन दिन के भीतर अपील प्राधिकारी को अपील की पुनर्ग्राह्यता या पुन: सुनवाई के लिए आवेदन कर सकेगा और यदि अपील प्राधिकारी का यह समाधान हो जाए कि अपीलार्थी या उसका सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता किसी पर्याप्त हेतुक से अपील की सुनवाई के समय उपसंजात होने से निवारित हो गया था, तो वह अपील को ऐसे निबंधनों और शर्तो पर जिनमें व्यय सम्मिलित हैं, जिन्हें कि वह उचित समझे पुन: ग्राह्य कर सकेगा तथा उसकी पुन: सुनवाई कर सकेगा ।

(11) अपील में पारित किए गए आदेश की एक प्रति अपीलार्थी को नि:शुल्क प्रदाय की जाएगी और दूसरी प्रति उस अधिकारी को भेजी जाएगी, जिसके आदेश से अपील की विषय-वस्तु बनी हो ।

[18-क. अधिहरण के आदेश के विरूद्ध अपील -- (1) धारा 16 की उपधारा (6) के अधीन अधिहरण के आदेश के विरूद्ध अपील का ज्ञापन :-

(क) लिखित में होगा;

(ख) उसमें अपीलार्थी का नाम तथा पता विनिर्दिष्ट किया जाएगा;

(ग) उसमें उस आदेश की तारीख को विनिर्दिष्ट किया जाएगा जिसके विरूद्ध अपील की गई है ;

(घ) उसमें उस तारीख को विनिर्दिष्ट किया जाएगा जिस पर अपीलार्थी को आदेश संसूचित किया गया था;

(ड) उसमें तथ्यो का स्पष्ट विवरण अंतर्विष्ट होगा;

(च) उसमें किसी तर्क या वर्णन के बिना उन आधारों को विनिर्दिष्ट किया जाएगा जिन पर अपील प्रस्तुत की गई है और उन्हें क्रम से संख्यांकित किया जाएगा;

(छ) उसमें वह अनुतोष, जिसके लिए प्रार्थना की गई है संक्षेप में कथित किया जाएगा; और

(ज) उसमें अपीलार्थी या उसके द्वारा इस निमित्त लिखित में सम्यक् रूप से प्राधिकृत किसी अभिकर्ता द्वारा निम्नलिखित प्ररूप में हस्ताक्षर किए जाएंगे और उसे सत्यापित किया जाएगा, अर्थात :-

मैं…………………………..अपीलार्थी अपील के ज्ञापन में एतद्द्वारा यह घोषणा करता हॅूं कि जो इसमें कथित किया गया है वह मेरी सर्वोत्तम जानकारी एवं विश्वास से सत्य है ।

………………………………..

अपीलार्थी के हस्ताक्षर

(2) अपील का ज्ञापन, अपील प्राधिकारी को स्वयं अपीलार्थी द्वारा या उसके द्वारा सम्यक् रूप से प्राधिकृत अभिकर्ता द्वारा व्यक्तिश: प्रस्तुत किया जाएगा ।

(3) अपील के ज्ञापन के साथ, फीस का संदाय किए जाने के प्रमाण स्वरूप रूपये 50/- की नगद रसीद या कोषालय चालान होगा ।]

19. पूर्णांकन करना - - अधिनियम या इन नियमों के अधीन देय अथवा वापसी योग्य रकम की गणना करने के प्रयोजनों के लिए एक रूपए के अंश वाले सभी व्यवहार निकटतम रूपए तक पूर्णाकित किए जाकर लेखे में लिए जाएंगे जिसमें पचास पैसे व अधिक के अंश को अगले रूपए तक पूर्णांकित किया जाएगा तथा पचास पैसे से कम के अंश को छोड़ दिया जाएगा ।

20. मांग और वसूली का रजिस्टर - -(1) कराधान प्राधिकारी कर की प्राप्ति का एक रजिस्टर प्ररूप “फ” में बनाए रखेगा ।

(2) कराधान प्राधिकारी करों की मांग और वसूली का रजिस्टर भी नीचे विनिर्दिष्ट किए गए प्ररूपों में रखेगा :-

(एक) जीवन–काल कर का संदाय करने वाले मोटरयानों के संबंध में प्ररूप “ब-1” में;

(दो) मोटर केब तथा शहर बस से भिन्न लोक सेवा यानों के संबंध में प्ररूप “ब-2” में;

(तीन) छूट प्राप्त मोटर यानों के संबंध में प्ररूप “ब-3” में;

(चार) अन्य मोटरयानों के संबंध में प्ररूप “ब-4” में;

(3) परिवहन आयुक्त लिखित आदेश द्वारा, परिवहन विभाग के ऐसे अधिकारियों, जैसे कि आदेश में विनिर्दिष्ट किए जाएँ, के द्वारा रखे जाने वाले किन्हीं अन्य रजिस्टरों को विहित कर सकेगा ।

21. अभिलेखों आदि का परिरक्षण और नष्टकरण -- परिवहन आयुक्त राज्य सरकार के पूर्व अनुमोदन से (इस) अधिनियम और इन नियमों के अधीन विहित किए गए विभिन्न दस्तावेजों और अभिलेखों की समुचित अभिरक्षा, परिरक्षण और नष्टकरण के लिए अनुदेश जारी करेगा और समस्त ऐसे दस्तावेज और अभिलेख ऐसे अनुदेशों के अनुसार परिरक्षित किए जाएंगें और नष्ट किए जाएंगे ।

[प्ररूप –क

[नियम 5 का उपनियम (1) देखिए]

गैर- परिवहन यानों के संबंध में घोषणा

कराधान प्राधिकारी …….………………………के समक्ष

1. स्वामी का नाम     …………………………….

2. यान का रजिस्ट्रीकरण चिन्ह (रजिस्ट्रीकरण दिनांक के साथ) ।    …………………………….

3. यान का वर्ग     ……………………………

4. रजिस्ट्रीकृत लदान रहित भार/ बैठने की क्षमता     …..किलोग्राम/संख्या………

5. देय तिमाही / जीवन काल कर की रकम     …….......अवधि…………

6. संदत्त की गई रकम- -

(क) कर रूपये     ….………………………

(ख) शास्ति रूपये     .…………………….….

(ग) ब्याज रूपये     …………………………

      योग      रूपये …..…………………….

7. बैंक ड्राफ्ट/कोषालय चालान/नगद रसीद क्रमांक एवं दिनांक .…………………………..

8. (1) मैं, एतद्द्वारा यह घोषणा करता हॅूं कि टोकन अभिप्राप्त करने के लिए ऊपर विनिर्दिष्ट मोटरयान के लिए कर का संदाय आपके कार्यालय…………………………..में नियमित रूप से किया जाएगा और आपको पूर्व सूचना दिए बिना कर का संदाय किसी अन्य कार्यालय में नहीं किया जाएगा ।

(2) मैं, एतद्द्वारा यह और घोषित करता हॅूं कि मेरें कब्जे और उपयोग के मोटरयान के संबंध में ऊपर दी गई जानकारी सत्य है ।

……………………………..

स्वामी के हस्ताक्षर

कार्यालय कराधान प्राधिकारी ……………………………………….मध्यप्रदेश

क्रमांक………………………..     तारीख ……………………………

अभिस्वीकृति

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 8 के उपनियम (1) के अधीन श्री………….. (स्वामी का नाम) से मोटरयान, जिसका रजिस्ट्रीकरण चिन्ह …………….. है,

के संबंध में …………… मास/ तिमाही जो दिनांक …………. से प्रारंभ होता है / जीवनकाल कर के संबंध में घोषणा, बैंक ड्राफ्ट/कोषालय चालान/ नगदी रसीद क्रमांक…….. दिनांक ………….. रूपए ………… (शब्दों में रूपए …………. केवल) के साथ प्राप्त हुई । स्वामी से यह अपेक्षा की जाती है कि वह अधोहस्ताक्षरकर्ता के समक्ष देय कर/शास्ति के अवधारण के संबंध में सुनवाई के लिए दिनांक ……………………… को उपस्थित रहे ।

तारीख ……………….

कराधान प्राधिकारी

…………………………….मध्यप्रदेश ]

[प्ररूप –ख

[नियम 5 का उपनियम (1) देखिए]

मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र से आवृत्त मोटरयान से भिन्न

परिवहन यानों के संबंध में घोषणा

कराधान प्राधिकारी……………………………………………के समक्ष

1. स्वामी का नाम     ……………………………..

2. अनुज्ञापत्र की विशिष्टियाँ     .……………………….……

(क) अनुज्ञापत्र क्रमांक और उसका प्रकार     …………………………….

(ख) मार्ग ट्रिप     मार्ग……….……………..

तथा किलोमीटरों में दूरी     ट्रिप ………………………

             मार्ग की दूरी …………..….

            प्रतिदिन………………….

             प्रचालित दूरी………….

.

3. मोटर यान की विशिष्टियाँ –

(क) रजिस्ट्रीकरण क्रमांक     ………………………….

(ख) रजिस्ट्रीकृत बैठने की क्षमता     ………………………….

(ग) सकल यान का भार     …………….………किलोग्राम

(घ) बीमा प्रमाण-पत्र क्रमांक तथा विधिमान्यता की दिनांक

(ङ) उपयुक्ता कब तक विधिमान्य रहेगी

4. देय कर आदि

(क) वह कालावधि जिसके लिए कर का संदाय किया है     ……………..……………..

(ख) देय मासिक /तिमाही कर/ स्लेब दूरी /     (एक) कर रूपये…………….

सकल यान भार के अनुसार)    (दो) शास्ति रूपये…………

    (तीन) ब्याज रूपये…………

    योग रूपये…………………..

(ग) संदत्त किया गया कर     रूपये……………….……….

(घ) बैंकड्राफ्ट/ कोषालय चालान क्रमांक और दिनांक ……………………………..

5. मैं एतद्द्वारा यह घोषणा करता हूँ कि मेरे कब्जे में और उपयोग के मोटरयान के संबंध में ऊपर दी गई जानकारी सत्य है।

6. मै, एतद्द्वारा यह और घोषणा करता हूँ ऊपर विनिर्दिष्ट मोटरयान के लिए कर का संदाय आपके कार्यालय …………………. में टोकन अभिप्राप्त करने के लिए नियमित रूप से किया जाएगा और आपको पूर्व सूचना दिए बिना कर का संदाय किसी अन्य कार्यालय में नहीं किया जाएगा

दिनांक………………

…………………………...

स्वामी के हस्ताक्षर

कार्यालय कराधान प्राधिकारी …………………………… मध्यप्रदेश

क्रमांक ……………….                                                    दिनांक…………………..

अभिस्वीकृति

मध्य् प्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 8 के उप नियम (1) के अधीन श्री ………. (स्वामी का नाम) से मोटरयान जिसका रजिस्ट्रीकरण चिन्ह …………. है, के संबंध में ……..… मास /तिमाही जो दिनांक ….……….. से प्रारंभ होता है के संबध में घेाषणा, बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान नगदी रसीद क्रमांक …………… दिनांक …………….. रूपए ……………. (शब्दों में रूपये ............. केवल) के साथ प्राप्तर हुई । स्वादमी से यह अपेक्षा की जातीहै कि वह अधोहस्तारक्षरकर्ता के समक्ष शास्ति के अवधारण के संबध में सुनवाई के लिए दिनांक ………………. को उपस्थित रहे ।

तारीख……………………………

कराधान प्राधिकारी, मध्यप्रदेश

[प्ररूप-ख-1]

[नियम 5 का उपनियम (1) का खण्ड (तीन) देखिए]

मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र के अन्तर्गत आने वाले परिवहन यान बाबत् घोषणा

कराधान प्राधिकारी ……………….के समक्ष, मास ……………………………..……केलिए

1. स्वामी का नाम

2. अनुज्ञापत्र / अनुज्ञापत्रों के अधीन उपयोग किए जाने वाले मोटरयानों की विशिष्टियाँ

 

अ क्र.

 

रजिस्ट्रीकरण

 

क्रमांक

मॉडल

 

रजिस्टीकृत.

 

बैठक क्षमता

बीमा प्रमाण पत्र क्रमांक.

तथा विधिमान्यता

उर्पयुक्तता कब तक

विधिमान्य रहेगी

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

 

 

1.

 

 

2.

 

 

3.धारित मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र/ अनुज्ञापत्रों की विशिष्टियाँ—

 

अ क्र.

 

अनुज्ञापत्र क्रमांक तथा प्राधिकार

 

जिसके द्वारा अनुज्ञापत्र मंजूर

अनुज्ञापत्र की विधिमान्यता का

 

दिनांक (कब तक)

मॉडल की शर्त सहित यदि कोई

 

हो, अनुज्ञापत्र पर परिचालन हेतु किया गया

 

अपेक्षित यानों की संख्या

(1)

(2)

(3)

(4)

 

अनुज्ञापत्र के अंतगर्त

 

आनेवाला मार्ग

 

दूरी सहित

प्रातिदिन फेरों

 

की संख्या

मॉडल की शर्त आदि के अनुसार

 

अनुज्ञापत्र के अधीन उपयोग में

 

लाए जाने वाले अधिकृत यानों

 

की औसत बैठने

 

की क्षमता

अनुज्ञापत्र के अधीन

 

सामान्यत: उपयोग में

 

लाए जाने वाले यान

 

का रजिस्ट्रीकरण

 

क्रमांक

(5)

(6)

(7)

(8)

 

1.

 

2.

 

यदि अनुज्ञापत्र उपयोग में नहीं लाया गया है तो अभिस्वीकृति‍ क्रमांक एवं तारीख

किसी एक दिन में यान द्वारा तय की जाने वाली दूरी

मद चार की उप मद (घ)/ (ङ)के अधीन लागू की गई दर

प्रतिमास की देय कर की रकम

टिप्पणियाँ

(9)

(10)

(11)

(12)

(13)

 

4. आरक्षित/ स्पेयर बसों की विशिष्टियाँ –

 

क्रमांक

रजिस्ट्रीकरण क्रमांक

औसत बैठने की क्षमता

उप मद (ङ) के अधीन देय कर की रकम क्रमांक

(1)

(2)

(3)

(4)

5. स्वामी द्वारा कर के संदाय के ब्यौरे (संलग्न सबूत के अनुसार)--

यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक

ऊपर पैरा 3 या 4 के अनुसार देय कर की रकम

संदाय के ब्यौरे बैंक ड्राफ्ट कोषालय चालान क्रमांक

दिनांक

(1)

(2)

(3)

(4)

5. मैं एतद्द्वारा घोषणा करता हूँ ऊपर दी गई जानकारी सत्य है।

6. मैं एतद्द्वारा यह और भी घोषणा करता हूँ टोकन/कर का प्रमाण-पत्र अभिप्राप्त करने के लिए ऊपर विनिर्दिष्ट कर का संदाय आपके कार्यालय में नियमित रूप से किया जाएगा और अस्थायी अनुज्ञापत्रों की बाबत् कर के सिवाय आपको पूर्व सूचना दिये बिना कर का संदाय किसी अन्य कार्यालय में नहीं किया जाएगा ।

दिनांक……………………………….

…………………………स्वामी के हस्ताक्षर

टीप :- 1. किसी प्रचालक द्वारा एक से अधिक मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र धारित हो तो ऐसे अनुज्ञापत्र/अनुज्ञापत्रों के अन्तर्गत आने वाले समस्त यानों के संबध में एक ही घोषणा फाइल की जाएगी ।

2. किसी प्रचालक के स्वामित्व के यानों जिनका कि उपयोग किया जाना किसी मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र के अधीन प्राधिकृत न हो, को इस घोषणा में सम्मिलित नहीं किया जाना चाहिए।

3. यदि अनुज्ञापत्रों की शर्तों के साथ दो यानों की अनुज्ञापत्र मार्ग पर प्रचालित किया जाना हो तो इस अनुज्ञापत्रों के सामने पैरा 3 के कॉलम (8) में दोनो यानों को वर्णित किया जाना चाहिए ।

4. केवल उन्हीं यानों के पैरा 3 के कॉलम (8) में दर्शाया जाना चाहिए जो मॉडल की क्षमता, बैठने की क्षमता के बारे में अनुज्ञापत्रों की शर्तो को पूरा करते हों।

5. यदि घोषणा के अधीन आने वाली कालावधि के लिए नियम 12 के अनुसार अनुज्ञापत्रों का उपयोग न किया गया हो तो इस अनुज्ञापत्र के अधीन आने वाले मार्ग पर सामान्य.त: उपयोग में लाए जाने वाले यान के संबध में देय कर की संगणना निचली स्लैब में की जाएगी ।

6. इस घोषणा के पैरा 2 में वर्णित यान जो पैरा 3 के कॉलम (8) में समिम्लित न हो तो पैरा 4 के कॉलम (2) में प्रविष्ट किए जाएंगे ।

कार्यालय कराधान प्राधिकारी ………………………………………………मध्यप्रदेश

क्रमांक ……………

तारीख …….………….

अभिस्वीकृति

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 5 के उप नियम (1) के अधीन श्री ……………..(स्वामी का नाम) से उसके स्वामित्व के मोटरयान के संबध में ………………..…….मास के संबध में घोषणा, बैंक डाफ्ट/कोषालय चालान जिनके ब्यौरे नीचे दिए गए है, के साथ प्राप्त हुई। स्वामी से अपेक्षा की जाती है कि वह अधोहस्ताक्षरकर्त्ता के समक्ष देय कर/ शास्ति के अवधारण के संबध में सुनवाई के लिए दिनांक …………………………..को उपस्थित रहे ।

यान क्रमांक

कोषायल चालान /बैंक डाफ्ट

 

क्रमांक

दिनांक

रकम

(1)

(2)

(3)

(4)

दिनांक ………….

कराधान प्राधिकारी

…………….……..मध्यप्रदेश

[प्रारूप –ग

[नियम 5 क का उपनियम (1) देखिए]

मोटरयान केविनिर्माता या व्यापारी द्वारा घोषणा

कराधान प्राधिकारी ……………………..के समक्ष

1.विनिर्माता या व्यापारी का पूरा नाम

…………..………..………

2. पूर्ण डाक पता

…………..…………&helli>

3. दिए गए व्यापार प्रमाण-पत्र की संखया क्रमांक ……………………

दिनांक…………………….

4. व्यापार रजिस्ट्रीकरण चिन्ह

……………………………

5. वह कालावधि जिसके लिए कर संदाय किया जाना है

……………..…………..

6. कर की रकम आदि --

क. कर की रकम

रूपये……….…………..

ख. शास्ति

रूपये………..………….

ग. ब्याज

रूपये……………………..

योग रूपये ……………….

7.संदाय की गई रकम

……………………………

8. बैंक ड्राफ्ट कोषालय चालान और दिनांक

 

………….………………

मैं, एतद्द्वारा यह घोषणा करता हूँ कि उपरोक्त जानकारी सत्य है

दिनांक…………….

…………………………

हस्ताक्षर

कार्यालय कराधान प्राधिकारी ……………………………..…………………मध्यप्रदेश

क्रमांक…………..

तारीख…….………….

अभिस्वीकृति

मध्यप्रदेश मोटरयान काराधान नियम 1991 के नियम 8 के उप नियम (1) अधीन श्री………………….. (विनिर्माता/व्यापारी का नाम) मोटरयान, जिसका व्यापार रजिस्ट्रीकरण चिन्ह……………….………हैं, के संबध में…………..वर्ष जो दिनांक………………....से प्रारंभ होता हो के संबंध में घोषणा, बैंक ड्राफ्ट/कोषालय चालान क्रमांक …………………. दिनांक …………………….…….. को रूपये …………………………… (शब्दों में रूपये ………………….. केवल) के साथ प्राप्त हुई। विनिर्माता/ व्यापारी से यह अपेक्षा कि जाती है कि वह अधोहस्ताक्षरकर्त्ता के समक्ष कर /शास्ति के अवधारण के संबंध में सुनवाई के लिए दिनांक………………………….को उपस्थित रहे।

तारीख………….

कराधान प्राधिकारी मध्यप्रदेश

दो प्रतियों में

 प्ररूप-घ

[नियम 5 का उपनियम 4.देखिए]

(यदि स्वामी स्थायी रूप से टोकन अभिप्राप्त करने के लिए स्थान परिवर्तन

करना चाहता है, तो इसका उपयोग किया जाए)

प्रति,

कराधान प्राधिकारी

……………………………..

द्वारा कराधान प्राधिकारी

………………………………..

(जिससे टोकन, अभिप्राप्तकिया जा रहा था)

यान क्रमांक …………..………..के लिए कर का संदाय …………..से ………………..तक कराधान प्राधिकारी …………………….………..के कार्यलय में दिया गया है ।

मैं कराधान प्राधिकारी ……………………….के कार्यालय से उक्त यान हटाना चाहता हूँ और एतद्द्वारा यह घोषणा करता हूं कि इसके पश्चात् टोकन अभिप्राप्त करने के लिए उक्त यान के कर का संदाय आपके कार्यालय …………….…………में नियमित रूप से किया जाएगा । आपको पूर्व सूचना दिए बिना किसी अन्य कार्यालय से टोकन अभिप्राप्त नहीं किया जाएगा ।

स्थान ………………..

दिनांक ………..…….

…………..……..………….

स्वामी के हस्ताक्षर

कराधान प्राधिकारी का पृष्ठांकन

(जिससे टोकन अभिप्राप्त किया जा रहा था)

प्रमाणित किया जाता है कि उपरोक्त यान के संबंध में………………..से………………………तक इस कार्यलाय में कर का संदाय कर दिया गया है और पते में परिर्वतन को हमारे अभिलेखों में सम्यक् रूप से समाविष्ट कर लिया गया है ।

दिनांक ………..……………

………..…………….…………

कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

[प्ररूप ङ]

[नियम 6 का उपनियम (1) देखिए]

मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र के अन्तर्गत आने वाले यानों से भिन्न मोटरयान के परिवर्तन के संबंध मे अतिरिक्त

घोषणा कराधान प्राधिकारी ………………………के समक्ष

मैं …………………… (स्वामी का नाम) एतद्द्वारा घोषणा करता हॅूं कि मेरे मोटरयान क्रमांक ………………… श्रेणी……………………… जो अनुज्ञापत्र क्रमांक ……………………. मार्ग/ क्षेत्र …………………………… के निए ……………………………. द्वारा मंजूर किया गया और जो ……………………… तक विधिमान्य है, में नीचे दिये गए ब्यौरे के अनुसार परिवर्तन किया गया है, जिससे वह कर की उच्चतर दर के संदाय का दायी हो गया है—

1. परिवर्तन का विवरण--

(एक) रजिस्ट्रीकरण की विशिष्टियाँ में परिवर्तन (विनिर्दिष्ट करें)

(दो) अनुज्ञापत्र का समर्पण/अर्जन /उपयोग में आना

क. अनुज्ञापन क्रमांक………….………………………

ख. ………..……………..……. द्वारा मंजूर किया गया

ग. अनुज्ञापत्र का मार्ग क्षेत्र …………..………………..

घ. प्रतिदिन के फेरों की संख्या ……………..……………

ङ. प्रतिदिन प्रचालित दूरी……………………………..

च. अनुज्ञापत्र की विधिमान्यता की तारीख ………………तक

छ. अनुज्ञापत्र के अर्जन/ समर्पण/उपयोग न आने के प्रारंभ की तारिख

(तीन) अनुज्ञापत्र की विशिष्टियाँ में परिवर्तन (मार्ग आदि का विस्तारण) (विनिदिर्ष्ट करें)

2. (एक) दिनांक …………………….……से …………………….………….तक की कालावधि के लिए पूर्व में संदत्त कर रूपए ………………….…………..

(दो) परिवर्तन केपश्चात् दिनांक ……………………..से ……………….……………तक की कालावधि के लिए दर कर रूपए ……………….

(तीन) देय का कर अंतर रूपए………………….……………..

3. कर के अन्तर के मद्दे रकम कर बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान /नगद रसीद क्रमांक …….………. दिनांक………..इसके साथ संलग्र है।

4. मैं अधिनियम की धारा 8 की उपधारा (2) के अधीन अपेक्षित रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र भी संलग्न कर रहा हूँ।

दिनांक…………………

…………………..……

स्वामी के हस्ताक्षर

कार्यालय कराधान प्राधिकारी …………………………………..……….मध्यप्रदेश

क्रमांक ………….

तारीख ………….

1. जो लागू न हो काट दें ।

2. नगर मार्गो पर चलाई जाने वाली मंजिली गाड़ियों के मामले में ही भरा जाए ।

अभिस्वीकृति

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम 1991 के नियम 6 के उप नियम (1) अधीन श्री ……….……..निवासी……………………से मोटरयान जिसका रजिस्ट्रीकरण चिन्ह ………………….है, के संबध में ………………..…………मास/तिमाही जो दिनांक………………….से प्रारंभ होता है के संबध में अतिरिक्त घोषणा, बैंक ड्राफ्ट/कोषालय चालान/नकदी रसीद क्रमांक …………..………. दिनांक …………………………….…रूपये………..……….. (शब्दों में रूपए ………….. केवल) के साथ प्राप्त हुई। स्वामी से अपेंक्षा की जाती है कि वह अधोहस्ताक्षरकर्त्ता के समक्ष कर/शास्ति के अवधारण के संबध में सुनवाई के लिए दिनांक ……………………………..को उपस्थित रहे ।

तारीख………………..

कराधान प्राधिकारी, मध्यप्रदेश

[प्ररूप ङ-1]

[नियम 6 का उपनियम (1) देखिए]

अतिरिक्त घोषणा जबकि मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्र के

अन्तर्गत आने वाले यान को परिवर्तित किया जाए

कराधान प्राधिकारी ……………………………….के समक्ष

मैं …………… (स्वामी का नाम) घोषणा करता हूँ कि अधिनियम की धारा 8 उपधारा (1) के अधीन घोषणा फाइल किए जाने के पश्चाकत् नीचे वर्णित यान में मेरे द्वारा इस घोषणा में प्रस्तुत विशिष्टियों के अनुसार परिवर्तन किया गया है /किया जाना प्रस्तावित है, जिसके कारण वह उच्चतर दर पर कर का संदाय करने के लिए दायी हो गया है--

<परिवर्तन के ब्यौरे

अनुक्रमांक

यान का रजिस्ट्रीकरण चिन्ह

पूर्व में संदत्त कर बैंक ड्राफट /कोषालय चालान क्रमांक तथा तारीख

रकम

परिवर्तन की तारीख

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

उस अनुज्ञापत्र की विशिष्टियाँ जिस पर कि यान परिवर्तन पूर्व सामान्यत: चालान जाता था

अनुज्ञापत्र क्रमांक

मार्ग

दैनिक फेरे

मार्ग की दूरी

(1)

(2)

(3)

(4)

 

परिर्वतन के पूर्व लागू कर की दर

 

(प्रति सीट)

उस अनुज्ञापत्र की विशिष्टियाँ जिस पर कि यान परिवर्तन के पश्चात्

 

सामान्यत: चलाया जाएगा

अनुज्ञापत्र क्रमांक मार्ग  दैनिक फेरे मार्ग की दूरी

 

 

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

परिवर्तनके पश्चा त् लागू कर की दर(प्रति सीट)

कर की दर काअंतर कॉलम 15- कॉलम 10

बैठने की औसत क्षमता

मास के लिये देय कर की रकम का अंतर

टिप्पणियाँ

(15)

(16)

(17)

(18)

(19)

 

2. मैं इसके साथ बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान क्रमांक……………….दिनांक……………...रकम रूपए………………………..मास …………………………..के मद्दे कर के अन्तर का संदाय किए जाने बाबत् संलग्न करता हूँ।

3. मै, यह भी घोषणा करता हूँ कि ऊपर परिदत्त की गई जानकारी सही है।

दिनांक…………………………………..

………….....................

स्वामी के हस्ताक्षर

टिप्पणी :- यदि परिवर्तित यान परिवर्तन के र्पूर्व आरक्षित /स्पेयर बस था तो उसे ऊपर कॉलम 6 से कॉलम 9 में वर्णित किया जाना चाहिए।

कार्यलय कराधान प्राधिकारी ……………………………………….……मध्यप्रदेश

क्रमांक ………….…………..

दिनांक………………….………

अभिस्वीकृति

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 6 के उपनियम (1) के अधीन अतिरिक्त घोषणा श्री …………………………से उनके स्वामित्व के यान क्रमांक …………………..…की बाबत् बैंक ड्राफ्ट/कोषालय चालान क्रमांक ………………………..दिनांक …………………………..राशि रूपए ………………………..…(शब्दों में रूपए …………..केवल) के साथ प्राप्त हुई! स्वामी से अपेक्षा की जाती है कि वह अधोहस्ताक्षरकर्त्ता के समक्ष देय कर/ शास्ति अवधारण के संबध में सुनवाई के लिए दिनांक ……………………………..को उपस्थित रहे।

दिनांक………….

कराधान प्राधिकारी मध्यप्रदेश

[प्ररूप ङ-2

[नियम 6 का उपनियम (3) तथा नियम 15 का उपनियम (1) देखिए ]

अवधारित कर की प्रज्ञापना /मांग की सूचना

कार्यालय कराधान प्राधिकारी …………………………………मध्यप्रदेश

क्रमांक …………………….….

 

दिनांक………………………

प्रति,

 

…………………………………

…………………………………

………………………….स्वामी

आपको एतद्द्वारा सूचना दी जाती है कि आपके स्वामित्व के नीचे वर्णित यान/यानों के संबंध में देय कर का अवधारण अधोहस्ताक्षरकर्त्ता द्वारा मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 की धारा 8 की उपधारा (3)/(4) के अधीन आदेश दिनांक………………….द्वारा निम्नानुसार किया गया है--

यान /यानों का क्रमांक

कालावधि जिसके लिये कर अवधारित किया गया

देय रकम

 

कर रूपये

शास्ति रूपए

(1)

(2)

(3)

(4)

 

पूर्व में संदत्त रकम

रकम अंतर

कर रूपए

शास्ति रूपए

संदत्त् किया जाने वाला कर /वापस की जाने वाली रकम रूपये

शास्ति रकम

(5)

(6)

(7)

(8)

3. आपको सूचना दी जाती है किे यदि आपसे उक्त अधिनियम के अधीन वसूलीय ऊपर अवधारित रकम का संदाय इस प्रज्ञापना तथा सूचना की तामीली की तारीख से सात दिन के भीतर नहीं किया जाता है तो उक्त अधिनियम की धारा 15/धारा 16 (3) के अधीन ऊपर वर्णित रकम की वसूली के लिए कार्यवाही की जाएगी ।

या

3. आपको एतद्द्वारा सूचित किया जाता है कि आपको, आधिक्य में संदत्त की गई रकम जो ऊपर कॉलम – 7 में दर्शाई गई है, की वापसी की पात्रता है, जो आपके द्वारा नियम 14 के अनुसार प्राप्त की जा सकती है या भाविष्य के संदाय के पेटे समायोजित की जा सकती है ।

दिनांक ……………

कराधान प्राधिकारी

……………………मध्यप्रदेश

जो लागून हो उसे काट दीजिए ।]

प्ररूप-च

तीन प्रातियों में

[नियम 7 का उपनियम (4) देखिए]

जीवन –काल-कर की रसीद

क्रमांक …………….

पुस्तक क्रमांक…………….

श्री ………………से यान क्रमांक……………...वर्ग………………….……के……………………संबंध में जीवनकाल के मद्दे……………………..रूपए (रकम मुद्रित की जाए) प्राप्त किए

………………………….

………………………….

कराधान प्राधिकारी

रोकड़ लिपिक के हस्ताक्षर

की मुद्रा

प्ररूप –छ

तीन प्रतियों में

[नियम 7 का उप नियम (4) देखिए]

मोटरयान कर की रसीद

क्रमांक ……………………….

पुस्तक क्रमांक…………..……

दिनांक…………………………

श्री ……………….…… से यान क्रमांक ……….…. वर्ग …………….….. के संबध में मोटरयान का / शास्ति / ब्याज के मद्दे रूपये …………………. (शब्दों में) …………………….. दिनांक ………………………. को प्रारंभ होने वाली तिमाही /छहमाही वर्ष के लिए प्राप्त किए ।

रूपए ………………………...

……………………………

………………………………..

कराधान प्राधिकारी की मुद्रा

रोकड़ लिपिक के हस्ताक्षर

……………

प्ररूप- ज

[नियम 8 का उपनियम (7) का खण्ड (तीन) देखिए]

मध्यप्रदेश राज्य में अस्थायी रूप से लाए गए मोटरयान के संबध में घोषणा

प्रति,

…………….………

…………………….

…………………...

मैं, एतद्द्वारा घोषणा करता हूँ कि मैं अधोलिखित मोटरयान को मध्यप्रदेश राज्य में दिनांक …………….. को लाया हूँ और मैं दिनांक ………… तक मध्यप्रदेश में इसे उपयोग करने का या इसे उपयोग करने हेतु रखने का आशय रखता हूँ ।

1. रजिस्ट्रीकरण चिन्ह …………………..…

2. यान की श्रेणी …………………..…

3. इंजन क्रमांक ………………….....

4. चैसिस क्रमांक ……………………..

5. सकल यान वजन/लदान रहित वजन .……………..कि.ग्रा

6. बैठने की क्षमता …………………….

7. संदत्त कर के ब्यौरे रूपए

बैंक ड्रॉफ्ट/कोषालय चालान/ नगद रसीद क्रमांक ………….………… द्वारा संदत्त किए गए।

मैं एतद्द्वारा घोषणा करता हूँ कि मेरे द्वारा लाए गए मोटरयान के संबंध में ऊपर दी गई जानकारी सत्य है।

दिनांक ………………………..

हस्ताक्षर ………………..….

नाम और पता ……………....

मेरे द्वारा, रसीद……………………………..तथा टोकन क्रमांक……………………………. शोध्य कर के रूप में रूपए ………………………….अभिलिखित करने के पश्चात् स्वी कृत किया गया ।

दिनांक……….……………

……………………………….

कराधान लिपिक /परिवहन प्रधान

……………………………

आरक्षक के हस्ताक्षर

कराधान प्राधिकारी या प्राधिकृत

अधिकारी

प्ररूप ज -1

[नियम 8 का उपनियम (1) देखिए]

बेड़ा स्वामी द्वारा उसके स्वामित्व की और मासिक आधार पर कर का संदाय

करने वाली मंजिली गाड़ियों /आरक्षित मंजिली गाड़ीयों के

संबंध में फाइल की जाने वाली घोषणा

मास ……………….….200…………..….के लिए

(दो प्रतियों में दी जाए)

भाग- एक

मैं/हम …………………….………….. (बेड़ा स्वामी का नाम) एतद्द्वारा यह घोषणा करता हूँ/करते है कि (मास) …………………………….. 200 ………. के प्रथम दिन को नीचे दी गई विशिष्टियों के अनुसार मेरे/हमारे स्वामित्व की मंजिली गाड़ियाँ/आरक्षित मंजिली गाड़ियाँ शहर मार्गो के भिन्न मार्गो पर प्रचलित थी।

2. मैं/हम प्रमाणित करता हूँ/करते हैं कि मास के प्रथम दिन को मेरे/हमारे स्वामित्व के तथा मार्गो से भिन्न मार्गो पर मंजिली गाड़ियों के रूप में उपयोग किए गए यान,मोटरयान अधिनियम, 1988 के अध्याय 5 तथा 6 के अधीन प्राप्त किए गए अनुज्ञापत्रों की विशिष्टियाँ; जैसी कि इस घोषणा में नीचे दी गई हैं सही है ।

3. मैं/हम शहर मार्गो से भिन्न मार्गो पर मंजिली गाड़ियों के नियमित प्रचालन और आरक्षित मंजिली गाड़ियों के बाबत् मास……………………………….200………..के लिए अग्रिम कर का संदाय रकने के लिए नीचे दिए गए ब्यौरो के अनुसार वांछा करता हूँ/ करते है--

1. नियमित मंजिली गाड़ियों के लिए अग्रिम कर    रूपए …………………

(भाग तीन के कॉलम 11 योग)

2. आरक्षित मंजिली गाड़ियों के लिए अग्रिम कर    रूपए …………..…….

(भाग चार के कॉलम 6 का योग)

3. [देय शुल्क रकम (1) + (2)]    रूपए …..…………..

4. संदाय ब्यौरे   रूपए …………………   बैंक ड्रॉफ्ट/ कोषालय चालान

क्रमांक…………….दिनांक…….……

भाग-दो

मास के प्रथम दिन को बेड़ा स्वामी के स्वामित्व की मासिक आधार पर कर का संदाय करने वाली मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित गाड़ियों की विशिष्टयाँ:

 

अनुक्रमांक

रजिस्ट्रीकरण चिन्ह

मॉडल

यान की श्रेणी (डीलक्स/ एक्सप्रेस/ साधारण)

रजिस्ट्रीकृत बैठक क्षमता

उपयुक्ता कब तक विधिमान्य रहेगी

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

 

भाग–तीन

शहर मार्गो से भिन्न के संबध में धारित मंजिली गाड़ी सेवा अनुज्ञापत्रों

/विशिष्ट मंजिली गाड़ी अनुज्ञापत्रों की विशिष्टियाँ :

अनुक्रमांक

अनुज्ञापन क्रमांक तथा प्राधिकारी जिसके द्वारा अनुज्ञापत्र मंजूर किया गया

अनुज्ञापन की विधि मान्यता का दिनांक (कब तक)

अनुज्ञापन के अंतगर्त आने वाले मार्ग दूरी सहित

प्रतिदिन के फेरों की संख्या

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

मॉडल शर्त सहित,यदि कोई हो मार्ग पर परिचालन हेतु अपेक्षित यानों की संख्या

मॉडल शर्त आदि के अनुसार मार्ग पर उपयोग किये जाने के लिये प्राधिकृत यानों की औसत बैठक क्षमता

मास के दौरान मार्ग पर सामान्यत: उपयोग में लाए जाने वाले यान का रजिस्ट्रीकरण चिन्ह

मार्ग पर चलाए जाने वाले यान द्वारा मध्यप्रदेश में किसी एक दिन में तय की जाने वाली दूर (किलोमीटर)

(6)

(7)

(8)

(9)

 

मद चार की उप-मद (घ) के अधीन यान को लागू कर की दर (रूपये प्रतिसीट प्रतिमास)

यान के संबध में देय कर की रकम (कॉलम 7 Xकॉलम 10) (रूपए प्रतिमास)

टिप्पणियाँ

(10)

(11)

(12)

 

 

भाग -चार

उपयोग न किए गए रखे हुए यानो को सम्मिलित करते हुए

आरक्षित/ स्पेयर बसों की विशिष्टियाँ

अनु-क्रमांक

रजिस्ट्रीकरण चिन्ह

यान का वर्ग (डीलक्स/ एक्सप्रेस /साधारण)

यानो की औसत बैठक क्षमता (वर्ग चार)

मद चार की उपमद (ङ) के अधीन यान को लागू कर की दर (रू प्रतिसीट प्रतिमास)

यान के संबंध मे देय कर की रकम कॉलम 4x कॉलम 5

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

 

दिनांक ………………………………..

स्वामी के हस्ताक्षर

टीप— (1) बंड़ा स्वामी की प्रत्येक प्रचालित शाखा (संभाग /डिपो आदि) द्वारा प्रचालित समस्त अनुज्ञापत्रों के संबध में एक ही घोषणा फाइल की जाएगी ।

2. बेड़ा स्वामी के स्वामित्व बसों को जिनका उपयोग ठेका गाड़ियों के रूप मे तथा अनन्यत: शहर मार्गो पर मंजिली गाडियों के रूप में किया जाता है। इस घोषणा में सम्मिलित नहीं किया जाना चाहिए।

3. अनुज्ञापत्रों की शर्तो के अनुसार यदि अनुज्ञापत्र का मार्ग एक से अधिक यान द्वारा प्रचालित होता है तो अपेक्षित यानों की संख्या तथा मार्ग अनुज्ञापत्र के भाग-तीन में कॉलम 6 के समक्ष विनिर्दिष्ट की जाए।

4. केवल ऐसे यानों को भाग-तीन के कॉलम 6 में दर्शाया जाए जो यान के मॉडल, बैठक क्षमता तथा वर्ग संबंधी अनुज्ञापत्रों की शर्तो को पूरा करता हो।

5. यदि घोषणा के अधीन आने वाली सम्पूर्ण कालावधि के लिए नियम 12 के अनुसार अनुज्ञापत्र को उपयोग में नहीं रखा गया है, तो घोषणा के भाग-तीन के कॉलम 8 से 11 रिक्त छोड़े जाएंगे और कॉलम 12 में शब्द ''अनुज्ञापत्र उपयोग में नहीं रखा गया'' लिखे जाएगे ।

6. इस घोषणा के भाग दो में वर्णित तथा भाग-तीन के कॉलम 8 में सम्मिलित नहीं किए गए समस्त यान भार चार के कॉलम 2 में प्रविष्ट किए जाएंगे।

कार्यालय कराधान प्राधिकारी …………………………….……………मध्यप्रदेश

क्रमांक……………….

दिनांक…………………….

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 8-क उपनियम (1) के अधीन बेड़ा स्वामी ………..……..से मासिक आधार पर कर संदाय करने वाली मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित मंजिली गाडियों के संबध में मास ……………..के लिए घोषणा बैंक ड्राफ्ट/कोषालय चालान क्रमांक ……..……. दिनांक…………………………….रकम रूपए……………………..(शब्दों में रूपए ………..………..) के साथ प्राप्त हुई। बेड़ा स्वामी से यह अपेक्षा की जाती है कि वह अधोहस्ताक्षकर्ता के समक्ष देय कर/ शास्ति अवधारण के संबध में सुनवाई के लिए स्वयं या सम्यक् रूप ये प्रधिकृत प्रतिनिधि द्वारा दिनांक …………..को उपस्थित रहे ।

दिनांक ……………..

………………………

कराधान प्राधिकारी

प्ररूप ज -2

[नियम 8-क का का उपनियम 2 देखिए]

बेड़ा स्वामी द्वारा उसके स्वामित्व की मासिक आधार पर कर का संदाय करने वाली मंजिली गाड़ियों /आरक्षित मंजिली गाड़ियों के संबध में दी जाने वाली अतिरिक्त घोषणा :

मास ……………..…..200……….……….के लिए

(दो प्रतियों में दी जाए)

समक्ष कराधान प्राधिकारी …………………….……. (मध्यप्रदेश)

मैं/हम …………..……..(बेड़ा स्वामी का नाम) यह घोषणा करता हूँ/करते है कि मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम 1991 की धारा 8 की उपधारा (1) के अधीन मास………….200 के लिए घोषणा फाइल करने के पश्चात् इस घोषणा में दी गई विशिष्टायों के अनुसार नीचे वर्णित मंजिली गाड़ियाँ/ आरक्षित गाड़ियाँ मेरे/हमारे द्वारा अभिग्रहीत/परिवर्तित की गई है जिससे वे उच्च्तर दर पर संदाय करने को दायी हो गई है।

2. परिवर्तन के ब्यौरे :

अनुक्रमांक

रजिसट्रीकृत चिन्ह

मॉडल

यान का वर्ग डीलक्स/ एक्सप्रेस/ साधारण

रजिस्ट्रीकृत बैठक क्षमता

पूर्व में संदत्त् कर (रकम रूपयों में)

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

 

परिवर्तन का दिनांक

उस अनुज्ञापत्र की विशिष्टियाँ जिस पर कि यान परिवर्तन के पूर्व सामान्यत: चलाया जाता था अनुज्ञापत्र क्रमांक मार्ग/मधयप्रदेश मार्ग की दूरी/दैनिक फेरे

परिवर्तन के पूर्व लागू कर की दर

(7)

(7 8 9 10 11)

(12)

उस अनुज्ञापत्र की विशिष्टियॉं जिस पर कि यान परिवर्तन के पश्चागत सामान्यचत: चलाया जाएगाअनुज्ञापत्र क्रमांक मार्ग मध्यप्रदेश में दैनिक फेरे मार्ग की दूरी

परिवर्तन के पशचात् लागू कर की दर (रूपए प्रति सीट प्रतिमास)

कर की दर में अंतर कॉलम (17कॉलम 12)

(13 14 15 16)

(17)

(18)

औसत बैठक क्षमता

मास के लिये देय कर के रकम अंतर (रूपए)

टिप्प्णी याँ

(19)

(20)

(21)

 

3.मोटर यान अधिनियम 1988 की धारा 101 के अधीन अतिरिक्त सेवाओं के लिए देय कर (केवल राज्य परिवहन उपक्रम के मामले में)

अनुक्रमांक

रजिस्ट्रीकरण

 

चिन्ह

मॉडल

यान का वर्ग (डीलक्स/एक्सप्रेस /साधारण)

रजिस्ट्रीकृत

 

बैठक क्षमता

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

मास के दौरान तय की अतिरिक्त दूरी (किलोमीटर में)

खड (च) के अधीन लागू कर की दर (पैसे प्रति10 किलोमीटर या उसके भाग के लिये प्रति सीट)

कर की देय रकम

टिप्पणियाँ

(6)

(7)

(8)

(9)

 

4.मास के लिए देय कर का अन्तर (पैरा 2 के कॉलम 20 का योग+ पैरा 3 कॉलम 8 का योग ) रूपए…………..

5. मैं इसके साथ बैंक ड्राफ्ट/ कोषालय चालान क्रमांक …….……… दिनांक………………रकम रूपए………………..मास……...........200……………के लिए कर के अन्तर का संदाय किए जाने बाबत् संलग्न करता हूँ।

6.मैं यह भी घोषणा करता हूँ कि मेरे/ हमारे द्वारा ऊपर दी गई जानकारी सही है ।

दिनांक ……………………

………………………….

पदनाम सहित बेड़ा स्वामी

के हस्ताक्षर

टिप्पणी – बेड़ा स्वामी की प्रत्येक प्रचालित शाखा (संभाग/ डिपो आदि) द्वारा मास के दौरान प्रचालित अभिग्रहीत/ परिवर्तित समस्त मंजिली गाड़ियों/ आरक्षित मंजिली गाड़ियों के संबंध में एक ही घोषणा फाइल की जाएगी ।,

यदि मास के दौरान परिवर्तित किया गया यान परिर्वतन के पूर्व आरक्षित/स्पेयर बस थी तो इस रूप में उसे पैरा 2 के कॉलम 8 से 11 में वर्णित किया जाना चाहिए।

(3) मास के दौरान रजिस्ट्रीकृत यान की दशा में रजिस्ट्रीकरण का दिनांक पैरा-2 के कॉलम 7 में दर्शाया जाना चाहिये और कॉलम 8 से 12 रिक्त छोड़ दिए जाने चाहिए। यदि ऐसे यान को मास के दौरान आरक्षित मंजिली गाड़ी के रूप में रखा जाता है तो इस घोषणा के पैरा-2 के कॉलम 13 से 16 के अधीन इस रूप में वर्णित किया जाना चाहिए।

कार्यालय कराधान प्राधिकारी ………………………………………….मध्यप्रदेश

क्रमांक………………

दिनांक …………………………………….

अभिस्वीकृति

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 नियम 8-क के उप नियम (2) के अधीन (बेड़ा स्वामी का नाम) ………………………………………………से मास अभिग्रहीत/परिवर्तित मंजिली गाड़ियों/ आरक्षित मंजिली गाड़ियों के संबंध में अतिरिक्तं घोषणा, बैंक ड्राफ्ट/ कोषायल चालान क्रमांक………………………दिनांक…………..…………….रकम रूपए………………………. (शब्दों में रूपए……………..) के साथ प्राप्त हुई। बेड़ा स्वामी से यह अपेक्षा की जाती है कि वह अधोहस्ताक्षरकर्ता के समक्ष देय कर/ शास्ति के अवधारण के संबंध में सुनवाई लिए दिनांक………………………………..को उपस्थित रहे।

दिनांक………………………………………….

……..………….......

कराधान प्राधिकारी]

प्ररूप-ज-3

नियम 8- क का उपनियम (4) देखिए}

कार्यालय कराधान प्राधिकारी …………………………………. (मध्यप्रदेश)

क्रमांक……………………………………………….

दिनांक……………………..

मास………………………………………….200……………….लिए मासिक आधार पर कर संदाय करने वाली मंजिली गाड़ियों तथा आरक्षित मंजिली गाड़ियों के लिए देय मासिक कर के अवधारण की सूचना।

प्रति,

………………………………………………..

…………………………………………………

……………………………………………….. (बेड़ा स्वामी)

आपको एतद्द्वारा सूचित किया जाता है कि…………………………………..(बेड़ा स्वामी का नाम) के द्वारा मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 8-क उपनियम (1) तथा (2) के अधीन फाइल की गई घोषणा और अतिरिक्त घोषणा के आधार पर आपके स्वामित्व तथा शहर मार्गो से भिन्न मार्गो पर चालन के लिए प्राधिकृत गाड़ियों और आरक्षित मंजिली गाडियों के संबंध में इस कार्यालय में उपलब्ध जानकरी के आधार पर मास………………………………200………………….के लिए मासिक कर नीचे दिए गए ब्यौरों के अनुसार अवधारित किया जाता है :-

(1) नियमित मंजिली गाड़ी तथा आरक्षित मंजिली गाड़ियों के अनुज्ञापत्रों   रूपए……………………… के अधीन प्रचालन के संबंध में देय कर की रकम

(2) मोटरयान अधिनियम, 1998 की धारा 101 के अधीन प्रचालन   रूपए……………

के लिए देय कर की रकम (केवल राज्य परिवहन उपक्रम के मामले में लागू)

(3) मास के दौरान मंजिली गाड़ियों में परिवर्तन के कारण देय कर की रकम   रूपए…….…

(4) मास के लिए संदेय कर की कुल रकम (1+2+3)   रूपए….……

(5) नियम 8-क (1) के अधीन घोषणा के साथ संदत्त की गई रकम   रूपए……

(6) नियम 8-क (2) के अधीन अंतिम घोषणा के साथ संदत्त की गई रकम   रूपए....

(7) संदेय कर के अन्तर की रकम (4-5-6)   रूपए…

2. आपको एतद्द्वारा यह सूचना दी जाती है कि यदि आपसे उक्त अधिनियम के अधीन वसूलीय ऊपर अवधारीत रकम का संदाय इस प्रज्ञापना तथा सूचना की तारीख से सात दिन के भीतर नहीं किया जाता है तो ऊपर वर्णित रकम की वसूली के लिए उक्त अधिनियम की धारा 15/ धारा 16 (3) अधीन कार्यवाही की जाएगी।

3. आपको एतद्द्वारा सूचित किया जाता है कि आधिक्य में संदत्त की गई रकम जो ऊपर कॉलम-7 में दर्शायी गई है, की वापसी की पात्रता है, जो आपके द्वारा प्राप्त की जा सकती या नियम 14 के अनुसार भविष्य के संदाय के पेटे समायेजित की जा सकती है।

दिनांक…………………

कराधान प्राधिकारी ………………………

मध्यप्रदेश

जो लागू न हो उसे काट दिजिए।]

प्ररूप-झ

[नियम 9 का उपनियम (1) देखिए]

प्रतिपर्ण और टोकन

क्रमांक…………………….

दिनांक…………………………....

अधिनियम की प्रथम अनुसूची के भाग……………के अधीन यान क्रमांक……………………..संदत्त कर रूपय …………....(शब्दों में……………..) के संबंध में टोकन

वह कालावधि, जिसके लिए कर संदत्त किया गया है…………………………………………….कर के संदाय का दिनांक……………………………………..

…………………….    ……………………………

कराधान लिपिक

कराधान प्राधिकारी

(प्रतिपर्ण के पृष्ठ भाग पर दर्शाया जाए)

(1) टोकन पुट्ठे या स्काउट विवरण पेपर के 6 से.मी. व्यास के गोलाकार टुकडे का होगा।

(2) विभिन्न मासों/ तिमाहियों के लिए जारी किया गया टोकन वर्ष की प्रत्येक तिमाही के लिए यथास्थिति मास की क्रम संख्या के द्वारा/ एक लाल उर्ध्व रेखा के द्वारा सुभित्र किया जाएगा ।

(आकृति में गोलाकार)

……………………………………………………………क्षेत्र

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991

टोकन क्रमांक……………………………………………………

रजिस्ट्रीकरण क्रमांक……………………………………..

यान का वर्ग…………………………………………………..

संदत्त किया गया कर रूपए……………………………………….

वह कालावधि, जिसके लिए कर संदत्त किया गया

दिनांक …………………………से …………………………तक

दिनांक………………………………

……………………

………………………………

कराधान लिपिक

कराधान प्राधिकारी

प्ररूप-ञ

[नियम 9 का उप नियम (3) देखिए]

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 के अधीन कर के संदाय से संबंधित प्रमाण-पत्र

प्रमाणित किया जाता है कि मोटरयान क्रमांक…………………………………………. के संबंध में कर संदाय नीचे दिए ब्यौरे के अनुसार………………………………………… के कार्यालय में किया गया है:-

(1) स्वामी का नाम…………………………………………………………………………

(2) यान का वर्ग……………………………………………………………………………..

(3) अनुज्ञापत्र क्रमांक………………………………………………………………………..

(4) एक दिन में तय की गई कुल दूरी…………………………………………… किलोमीटर

(5) क्या अतिरिक्त यान (स्पेयर)है…………………………………………………………

(6) वह मासिक दर, जिसके अनुसार कर संदत्त किया गया…………………………………

(7) वह कालावधि, लिसके लिए कर का संदाय किया गया दिनांक……………………….से

……………………………………….तक

(8) संदाय के ब्यौरे रकम रूपए……………………………………………………बैंक ड्राफ्ट/ कोषालय

चालान क्रमांक…………………………………………….और दिनांक……………………………

दिनांक ……………………… …………………………………………

हस्ताक्षर

कराधान प्राधिकारी

प्ररूप-ट

[नियम 11 का उप नियम (1) देखिए,]

मोटरयान का उपयोग न किए जाने की सूचना के लिए आवेदन-पत्र

भाग-एक

(स्वामी द्वारा पूर्ण किया जाए)

प्रति,

कराधान प्राधिकारी,

………………………………………………….

………………………………………………….

(1) रजिस्ट्रीकृत स्वामी का नाम (स्पष्ट अक्षरों में) …..………………………………

(2) रजिस्ट्रीकृत स्वामी का डाक का पता ……………………………..……..

(3) उपयोग से हटाए जाने वाले यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक तथा

वह दिनांक जिस तक कर का संदाय किया गया …………………….…………..…..

(4) उपयोग न किए जाने की कालावधि

(दिनांक दिए जाएँ) दिनांक………………..से ………तक

(5) उस स्थान का डाक का पता जहाँ कालावधि के दौरान मोटरयान

रखा जाएगा   ………………..…….……………..

(6) मोटरयान का उपयोग न किए जाने के कारण   ……………………….…………..

मै, मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 11 के उपनियम (2) तथा (3) के अधीन यथा अपेक्षित निम्नलिखित अभिलेख इसके संलग्र करता हँ :-

(1) दस रूपए की नकद रसीद का क्रमांक   …………दिनांक……….

(2) रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र   ………………………….

(3) कर टोकन का क्रमांक   …………….……………

(4) उपयुक्तणता का प्रमाण-पत्र  ………………………….

(5) बीमा का प्रमाण पत्र   …………………………..

(6) अनुज्ञा पत्र क्रमांक   ……………………………

(7) कर का प्रमाण-पत्र   …………………………….

(8) अनापत्ति प्रमाण-पत्र/ न्यायालय का आदेश

मै घोषणा करता हॅूं कि मै उक्त यान को कराधान प्राधिकारी की पूर्व अनुज्ञा के बिना विनिर्दिष्ट स्थान से नहीं हटाऊंगा। मैं, यह भी घोषणा करता हॅूं की उक्त कथन मेरे सर्वोत्तम ज्ञान से सही और सत्य हैं।

स्थान…………………………

दिनांक…………………………

…………….……………………………

स्वामी के हस्ताक्षर

भाग- दो

अभिस्वीकृति

श्री………………………………..से मोटरयान, जिसका रजिस्ट्रीकरण क्रमांक………………..है,

के……………………………………से…………………………………तक उपयोग न किए जाने संबंधी सूचना प्ररूप-“ट” में…………………………………………….को निम्नलिखित दस्तावेजों के साथ प्राप्त हुई—

1. …………………………………………………..

2. ………………………………………………….

3. ……………………………………………….

4. ……………………………………………..

5. ………………………………………………

6. …………………………………………..

7. …………………………………………..

8. ……………………………………………

दिनांक………………………………………….

…………………………………………..

कराधान प्राधिकारी

[प्ररूप-“ट-1”

[नियम 11का उपनियम (3) का खण्ड (छह) देखिए]

कार्यालय राज्य/ प्रादेशिक परिवहन अधिकारी ……………………………… (मध्यप्रदेश)

क्रमांक…………………..

दिनांक……………………………..

आक्षेप न होने का प्रमाण- पत्र

प्रमाणित किया जाता है कि श्री …………………………………………के स्वामित्व का लोक सेवा यान जिसका रजिस्ट्रीकरण चिन्ह……………………………………………………. है, जो इस प्राधिकारी द्वारा मार्ग………………….से …………………..के लिए जारी किए गए अनुज्ञापनत्र क्रमांक………………….के अन्तर्गत आता है, को………………..(मास) 200…………………….के प्रथम दिन को प्रारंभ होने वाली ………………………………………..मास की कालावधि के लिए उपयोग न किए जाने में, इस प्राधिकारी को कोई आक्षेप नहीं है।

…………………………………….

सचिव/ सहायक सचिव

राज्य/प्रादेशिक परिवहन प्राधिकारी

…………………......मध्यप्रदेश}

प्ररूप-“ठ

[नियम 11का उपनियम (7) देखिए]

उपयोग में न रखे गए यानों का रजिस्टर

 

अनुक्रमांक

सूचना प्राप्त होने का दिनांक

यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक

यान का वर्ग

स्वामी का नाम एवं पता

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

उपयोग में रखे जाने की कालावधि से

उपयोग में रखे जाने की कालावधि तक

वह स्थान जहाँ उपयोग में न रखे जाने की कालावधि के दौरान यान रखा जाएगा

रजिस्ट्रीकरण प्रमाण-पत्र

कर टोकन

(6)

(7)

(8)

(9)

(10)

 

उपयोग में रखे जाने की सूचना के साथ जमा किए गए दस्तावेज उपयुक्तता प्रमाण-पत्र

उपयोग में रखे जाने की सूचना के साथ जमा किए गए दस्तावेज बीमा प्रमाण-पत्र

उपयोग में रखे जाने की सूचना के साथ जमा किए गए दस्तावेज कर प्रमाण-पत्र

उपयोग में रखे जाने की सूचना के साथ जमा किए गए दस्तावेज अनुज्ञापत्र क्रमांक

उपयोग में रखे जाने की सूचना के साथ जमा किए गए दस्तावेज अनापत्ति प्रमाण-पत्र / आदेश की प्रति

कराधान प्राधिकारी द्वारा सत्यापन दिनांक सहित

(11)

(12)

(13)

(14)

(15)

(16)

क्षे.प अधि./सहा.क्षे.प.अधि.प.नि./प.उ.नि.की निरीक्षण रिपोर्ट का संक्षिप्त सार

स्थान परिवर्तन के लिये दी गई अनुज्ञा, यदि कोई हो

कागजपत्र वापस करने का दिनांक

क्षे.प. अधि./स.क्षे. परि.अधि.द्वारा अंतिम सत्यापन

टिप्पणियाँ

(17)

(18)

(19)

(20)

(21)

प्ररूप- ड

[नियम 12 का उप नियम (1) देखिए]

अनुज्ञा – पत्र के जमा करने के लिए आवेदन – पत्र

भाए- एक

(अनुज्ञा पत्र के धारक द्वारा भरा जाए)

प्रति,

कराधान प्राधिकारी,

………………………………………..

………………………………………

1. अनुज्ञापत्र धारक का नाम (स्पष्ट अक्षरों में)   ……………………………………..

2. अनुज्ञापत्र घारक का डाक का पता   ……………………………………..

3. यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक तथा वह दिनांक

जिस तक कर का संदाय किया गया   ………………………………………

4. अनुज्ञापत्र क्रमांक और वैधता का दिनांक   …..………………………………….

5. अनुज्ञापत्र के जमा करने की प्रस्तावित कालावधि

दिनांक …….…से ………….तक

6. अनुज्ञापत्र जमा करने के लिए कारण :-

1. यांत्रिक खराबी

2. मार्ग का मोटर योग्य न होना

3. न्यायालय का आदेश

4. होली के त्यौहार के कारण प्रचालन न होना

5. निर्वाचन कार्य या विधि और व्यवस्था संबंधी कर्तव्य की दृष्टि से मान के अधिग्रहण के कारण प्रचालन न होना।]

मै, एतद्द्वारा मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 12 उपनियम 2 तथा 3 के अधीन यथा अपेक्षित निम्न दस्तावेजों के आवेदन-पत्र के साथ संलग्न करता हूँ :-

1) दस रूपए की नकद रसीद का क्रमांक………………………तथा दिनांक………………………

2) अनुज्ञा पत्र क्रमांक…………………………………………………………………………….

3) कर प्रमाण- पत्र…..…………………………………………………………………………..

4) अनापत्ति प्रमाण पत्र /आदेश की प्रमाणित प्रति

मैं घोषित करता हॅूं की ऊपर मद क्रमांक 5 के सामने उल्लेखित की गई कालावधि के दौरान अनुज्ञा पत्र के अर्न्तगत आने वाले मार्ग पर सेवा का प्रचालन नहीं करूँगा, मैं, यह भी घोषित करता हूँ कि उक्त कथन मेरे सर्वोत्तम ज्ञान से सही और सत्य है।

स्थान……………………..

………………………………

दिनांक……………………

अनुज्ञा पत्र धारक के हस्ताक्षर

भाग-दो

अभिस्वीकृति

श्री ………………………………………. से यान क्रमांक …………………………………….. के लिए ……………………………….. (प्राधिकारी) द्वारा स्वीकृत [अनुज्ञापत्र क्रमांक ………………………………. के बाबत् दिनांक …………………………………………. से दिनांक …………………………………… तक की कालावधि के लिए] अनुज्ञापत्र का उपयोग न किए जाने की सूचना प्ररूप-ड में निम्नलिखित दस्तावेजों के साथ प्राप्त हुई—

1. अनुज्ञापत्र क्रमांक ………………………………………………..

2. कर प्रमाण-पत्र ……………………………………………….

3. ………………..…………… द्वारा स्वीकृत अनापत्ति प्रमाण-पत्र

4. न्यायालय आदेश दिनांक ……………………………………..

दिनांक …………………………………….

……………………………

कराधान प्राधिकारी

प्ररूप- “ ड-1 ’’

[नियम 12 के उपनियम (3) का खंड (दो) देखिए]

कायार्लय राज्व / प्रादेशिक परिवहन अधिकारी ........................................... (मध्यप्रदेश) क्रमांक

क्रमांक....................................

दिनांक ..................................

आक्षेप न होने का प्रमाण-पत्र

प्रमाणित किया जाता है कि इस प्राधिकारी द्वारा श्री ………………………………………………. को मार्ग ............................................ से ........................................... के लिए जारी किए गए अनुज्ञापत्र क्रमांक........................... को नीचे दिए कारणों से दिनांक..................... से................... 200........ तक की कालावधि के लिए उपयोग न किए जाने में, इस प्राधिकारी को कोई आक्षेप नहीं है ।

कारण :-

1. यान की यांत्रिकी का ठप्प हो जाना / उसकी मरम्मत, अनुरक्षण

2. मोटर चलाए जाने योग्य मार्ग का न होना

आक्षेप न होने का प्रमाण-पत्र

 

..........................................

सचिव / सहायक सचिव

राज्य / प्रादेशिक परिवहन प्राधिकारी,

… .............................. मध्यप्रदेश

टिप्पणी :- जो लागू न हो उसे काट दीजिए ।]

प्ररूप – ढ

[नियम 12 का उप नियम (6) देखिए]

उपयोग में न रखे गए अनुज्ञापत्रों का रजिस्टर

अनुक्रमांक

आवेदन प्राप्त करने का दिनांक

अनुज्ञापत्र धारक का नाम

अनुज्ञापत्र क्रमांक

अनुज्ञापत्र की वैधता कब तक है

अनुज्ञापत्र का मार्ग

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

 

यान का रजिस्ट्रीकरण

जमा करने की कालावधि से

जमा करने की कालावधि तक

अनुज्ञापत्र को जमा करने के कारण यांत्रिक खराबी

अनुज्ञापत्र को जमा करने के कारण यांत्रिक मार्ग का मोटर योग्य न होना

अनुज्ञापत्र को जमा करने के कारण न्यायालय का आदेश

(7)

(8)

(9)

(10)

(11)

(12)

 

किस दिनांक तक कर का संदाय किया गया

अनुज्ञापत्र वापस लेने का दिनांक

कराधान प्राधिकारी द्वारा सत्यापन और दिनांकित आद्याक्षर

टिप्पणियाँ

(13)

(14)

(15)

(16)

 

प्ररूप – ण

[नियम 13 का उप नियम (1) देखिए]

किसी मार्ग पर मोटरयान के प्रचालित न किए जाने की सूचना

भाग-एक

(अनुज्ञापत्र के धारक द्वारा भरा जाए)

प्रति,

कराधान प्राधिकारी,

......................................

......................................

1 अनुज्ञापत्र धारक का नाम (स्पष्ट अक्षरों मे) .........................................

2 अनुज्ञापत्र धारक का डाक का पता .........................................

3 यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक तथा वह दिनांक जिस तक कर का संदाय किया गया .........................................

4 अनुज्ञापत्र क्रमांक और वैधता का दिनांक .........................................

5 मार्ग पर यान के प्रचालित न किए जाने की कालावधि ...............से.............. तक

6 मार्ग पर यान के प्रचालित न किए जाने के कारण :-

1. प्राकृतिक विपत्ति .........................................

2. विधि और व्यवस्था .........................................

3. किसी दुर्घटना में नुकसानग्रस्त यान .........................................

मैं, इसके साथ मध्यप्रदेश मोटरयान नियम, 1991 के नियम 13 “क” के उपनियम (3) के अधीन यथा अपेक्षित निम्न दस्तावेज संलग्रन करता हूँ :-

1. दस रूपए की नकद रसीद क्रमांक........................................... तथा दिनांक ...........................

2. (1) अनुविभागीय अधिकारी, लो.नि.वि. का प्रमाण-पत्र

(2) अनुविभागीय अधिकारी पुलिस या उपखंड मजिस्ट्रेट के प्रतिबंधात्मक आदेश या प्रमाण-पत्र की प्रति

(3) प्रथम सूचना रिपोर्ट की प्रति

(4) प्रतिकर के दावे हेतु बीमा कंपनी को दी गई सूचना की प्रति

(5) कोई अन्य प्रमाण-पत्र

मैं घोषणा करता हूँ कि मैने ऊपर मद क्रमांक 5 के सामने उल्लिखित कालावधि के दौरान अनुज्ञापत्र के अंतर्गत आने वाले मार्ग पर सेवा का प्रचालन नहीं किया है । मैं, यह भी घोषणा करता हूँ कि उपरोक्त कथन मेरे सर्वोत्तम ज्ञान से सही और सत्य है ।

स्थान .............................................

................................................

दिनांक ............................................

अनुज्ञापत्र धारक के हस्ताक्षर

* जो लागू न हो उसे काट दिया जाए ।

भाग-दो

अभिस्वीकृति

श्री .............................. से प्ररूप “ण” में यान क्रमांक........................ के लिए......................................(प्राधिकारी) द्वारा प्रदत्त अनुज्ञापत्र क्रमांक............................ जो दिनांक........................ तक विधिमान्य है, के अंतर्गत आने वाले मार्ग पर [दिनांक......................से दिनांक............................................ तक की कालावधि के दौरान यान का प्रचालन नहीं किए जाने की सूचना]

1. ............................................

2. ............................................

............................................

कराधान प्राधिकारी

प्ररूप –“ण-1”

[नियम 13 का उपनियम (3) का खंड (दो) देखिए]

कार्यालय, अनुविभागीय अधिकारी, लोक निमार्ण विभाग

अनुविभाग क्रमांक..............................     खण्ड........................................

क्रमांक............................................     दिनांक.....................................

प्रमाणित किया जाता है कि इस.......................से............................तक बस मार्ग पर पड़ने वाली..............................कि.मी.लम्बी............................से...............................तक की सडक निम्नलिखित कारणों से मोटर चलाए जाने के योग्य नहीं है/मोटर चलाए जाने के योग्य नहीं थी –

कारण :-

1. भारी वर्षा / बाढ के कारण,

2. पुल / पुलिया के ध्वस्त हो जाने के कारण,

3. अन्य कारण (विनिर्दिष्ट करें) ............................

.......................................................

अनुभाग अधिकारी,

लोक निर्माण विभाग अनु.क्र............

निर्माण / संधारण

खंड क्रंमाक............................

टिप्पणी – जो लागू न हो उसे काट दीजिए ।

 

प्ररूप-त

[नियम 13 का उपनियम (6) देखिए]

अकल्पित परिस्थितियों के अधीन मोटरयानों का प्रचालन न किए

जाने के संबंध में प्राप्त सूचनाओं का रजिस्टर

अनुक्रमांक

सूचना की प्राप्ति की तारीख

अनुज्ञापत्र धारक का नाम

अनुज्ञापत्र क्रमांक

अनुज्ञापत्र की विधिमान्यता कब तक है

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

अनुज्ञापत्र का मार्ग

यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक

किस दिनांक तक कर का संदाय किया गया है

प्रचलित न किए जाने की कालावधि से

प्रचलित न किए जाने की कालावधि तक

(6)

(7)

(8)

(9)

(10)

 

प्रचालित न किए जाने के कारण प्राकृतिक विपत्ति

प्रचालित न किए जाने के कारण विधि और व्यवस्था

दुर्घटना

कराधान प्राधिकारी द्वारा सत्यापन और दिनांक सहित आद्याक्षर

टिप्पणियाँ

(11)

(12)

(13)

(14)

(15)

प्ररूप-थ

[नियम 14 का उपनियम (2) देखिए]

कर की वापसी के लिए आवेदन-पत्र

प्रति,

कराधान प्राधिकारी,

..............................................

..............................................

मैं…………………………………………..निवासी……………………………….मोटरयान रजिस्ट्रीकरण क्रमांक …………………………………………..का स्वामी एतद्द्वारा नीचे दिए गए ब्यौरों और कारणों के आधार पर कर वापसी का दावा करता हूँ—

(1) वह कालावधि, जिसके लिए कर का संदाय किया गया है—

दिनांक……………………………………….…..से………………………………….…..तक

(2) वह कालावधि जिसके लिए वापसी का दावा किया है-

………………………………………………….से ……………..………………………….तक

(3) संदत्त की गई कर की रकम रूपए……………………………………………………………बैंक ड्राफ्ट/चालान/रसीद क्रमांक………………………………..से ……………………………….तक उपयोग किया जाना ।

(4) दावा की गई रसीद की रकम रूपए……………………………………….………………………..

(5) वापसी के लिए कारण—

(एक) दिनांक……………………………..से यान का उपयोग न किया जाना

(दो) अनुज्ञापत्र का दिनांक………………………..से…………………………………..तक उपयोग न किया जाना

(तीन) यान का प्रचालन न किया जाना दिनांक …………………………..से …………………तक

(चार) यान में परिवर्तन का दिनांक…………………….…………………………………………

(पाँच) भूलवश अधिक किए गए संदाय का दिनांक…………..…………………………………

2. इस आवेदन-पत्र के साथ निम्नलिखित दस्तावेजें संलग्न है—

(1) कर के संदाय का सबूत (मूल या प्रमाणित प्रति)

(2) उपयोग न किये जाने की सूचना/अनुज्ञापत्र को जमा करने के लिए आवेदन पत्र/यान का प्रचालन न किए जाने की सूचना/या यान में परिवर्तन संबंधी घोषणा के संबंध में कराधान प्राधिकारी के द्वारा जारी की गई अभिस्वीकृति ।

(3) अन्य दस्तावेजें (विर्निदिष्ट करें)……………………………………………………………

3. मैं एतद्द्वारा यह घोषित करता हूँ कि इस आवेदन-पत्र में दावा की गई वापसी के संबंध में पूर्व में कोई आवेदन नहीं दिया गया है ।

दिनांक………………………………

आवेदक

…………………………

पप्ररूप-द

प[नियम 14 का उपनियम (2) तथा 4 देखिए]

पवापसी व्हाउचर

प्रतिपर्ण

(1) क्रमांक………………………………..……

(2) स्वामी का नाम…………………………….

(3) वाहन का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक ………………

(4) संदत्त कर रूपए ……………………………....

(5) स्वीकृत वापसी रूपए……………………….

(6) कालावधि जिसके लिए वापसी स्वीकृति की गई है

(7) दिनांक ………………………….

अनुक्रमांक ………….. पुस्तक क्रमांक …………प्रति,कोषाधिकारी, यह प्रमाणित किया जाता है कि श्री …………. ने रजिस्ट्रीकृत चिन्ह ………….. वाले मोटरयान के मामले में दिनांक ………. से ………… तक की कालावधि के लिए मोटर यान कर की रकम रूपए …………… का संदाय कर दिया है और वह मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 की धारा 14 के अधीन रूपए ………………. की वापसी के हकदार है,

(2) वह कर, जिसके संबंध में वापसी का दावा किया है, कोषालय में पूर्व में ही जमा किया जा चुका है,

(3) वापसी का टिप्पण मूल अभिलेख में मेरेद्वारा दिनांकित आद्याक्षरों से लगा दिया गया है, और

(4) मोटरयानों के संबंध में वापसी का कोई आदेश पूर्व में जारी नहीं किया है।कृपया श्री ………………….. को उपरोक्त वापसी के मद्दे रूपये …………. (शब्दों में रूपए …………..) की राशि का संदाय करें।

कराधान प्राधिकारी    दिनांक…………………   कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

प्ररूप-ध

[नियम 14 का उपनियम (10) देखिए]

कर वापसी का रजिस्टर

अनुक्रमांक

वापसी के आवेदन का दिनांक

उस व्यक्ति का नाम जिसे वापसी की गई

यान क्रमांक

संदत्त की गई कर की रकम

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

कोषलय का नाम जिसमें रकम जमा की गई थी (यदि चालान से संदत्त की गई हो)

बैंक ड्राफ्ट/चालान/रसीद क्रमांक तथा दिनांक

वापसी का स्वरूप जिसके लिये दावा किया है

पारित किए गए वापसी आदेश दिनांक

स्वीकृत की गई वापसी की रकम

(6)

(7)

(8)

(9)

(10)

 

क्या वापसी की रकम का समायोजन किया गया है

वापसी वाउचर का क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

टिप्पणियाँ

(11)

(12)

(13)

(14)

 

प्ररूप-प-1

[नियम 17 का उपनियम (1) देखिए]

मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 का धारा 16 की उपधारा (3) के अधीन कर वसूली के लिए मोटरयान के अभिग्रहण का ज्ञापन

1. दिनांक…………………..

स्थान……………………

2. यान का अभिग्रहण करने वाले प्राधिकृत अधिकारा का नाम   ………….……………..

3. यान के रजिस्ट्रीकृत स्वामी का नाम   ……………..…………..

4. उस व्यक्ति का नाम आदि जिसके कब्जे से यान अभिग्रहीत किया गया  ………..…………….

5. साक्षियों के नाम   (1)…………………….

        (2)………………………

6. अभिग्रहीत किए गए यान की विशिष्टियाँ –

(1) रजिस्ट्रीकरण चिन्ह…………………….   (2) यान की श्रेणी….…..

(3) चेचिस क्रमांक…………………..   (4)इंजनक्रमांक…..………0

5. यान अभिग्रहीत किए जाने के कारण –

(1) मध्य प्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 की प्रथम/द्वितीय/तृतीय अनुसूची की मद………………………के अधीन मास…………………………….200………………के लिए देय कर की रकम रूपये …………………… (शब्दों में रूपये………………………….) का संदाय न किया जाना ।

(2) कराधान प्राधिकारी……………के आदेश क्रमांक………..दिनांक….…………….के अनुसार रूपए………………. (शब्दों में रूपये…………………….) की बकाया कर की शोध्य रकम का संदाय न किया जाना ।

(3) कराधान प्राधिकारी…………के आदेश क्रमांक…………. दिनांक……………….के अनुसार रूपए…………..…….(शब्दों में रूपये……………….) की शोध्य शास्ति की रकम का संदाय न किया जाना ।

(4) कराधान प्राधिकारी…………के आदेश क्रमांक..……..…दिनांक………………….के अनुसार रूपए……….….(शब्दों में रूपये……….) की शोध्य शास्ति रकम का संदाय न किया जाना ।

1.……………….       2………………..

उस व्यक्ति के हस्ताक्षर   साक्षियों के हस्ताक्षर    प्राधिकारी के हस्ताक्षर

जिसके कब्जे से यान

अभिग्रहीत किया गया।

      प्रति प्राप्त की   (हस्ताक्षर)    टीप- प्ररूप प -2 मे अभिग्रहण तथा निरोध के आदेश की प्रति के साथ इस ज्ञापन की एक-प्रति उस व्यक्ति पर तामिल की जाएगी जिसके कब्जे से यान अभिग्रहीत किया गया है।

प्ररूप –प-2

[नियम 17 का उपनियम (2) देंखिए]

कर/शास्ति/ब्याज की वसूली के लिए मोटरयान के अभिग्रहण तथा निरोध का आदेश

चूंकि श्री…………………………..(स्वामी का नाम) के मोटरयान जिसका रजिस्ट्रीकरण चिन्ह …………………………..है, की बाबत् मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम, 1991 के अधीन देय कर, शास्ति तथा ब्या्ज की शोध्य रकम रूपए……………………(शब्दों में रूपये……………………………………….) का संदाय नहीं किया गया है ।

अतएव अब मैं……………………………….. (पदनाम) उक्त अधिनियम की धारा 16 की उपधारा (3) के अधीन एक प्राधिकृत अधिकारी के नाते उपरोक्त यान को जब तक कि यान की बाबत् देय रकम का संदाय किया जाकर रकम के संदाय के साक्ष्य स्वरूप सबूत प्राप्त नहीं किया जाता है । एतद्द्वारा अभिग्रहीत करता हूँ और निरूद्ध करता हूँ ।

सील

स्थान…………………………….

हस्ताक्षर………………………….

दिनांक……………………………

पदनाम……………………………

प्रतिलिपि :-

(1) थाना प्रभारी, पुलिसय स्टेशन………………………को अधोहस्ताक्षरी या कराधान प्राधिकारी ………………………..या अपील प्राधिकारी (परिवहन आयुक्त ग्वालियर) के आगे और किए जाने वाले आदेश तक सुरक्षित अभिरक्षा में रखने के निवेदन के साथ ।

(2) कराधान प्राधिकारी……………………………………………. की जानकारी हेतु।

(3) श्री………………………………पुत्र श्री……..…निवासी…………(स्वामी/चालक) को अनुपालन के लिए प्रति प्राप्त की ।

हस्ताक्षर…………………….. पदनाम………………………

…………………(हस्ताक्षर)

टीप :- प्ररूप प-1 में अभिग्रहणक के ज्ञापन के साथ इस आदेश की एक प्रति उस व्यक्ति पर तामील की जाएगी जिसके कब्जे से यान अभिग्रहीत किया गया है ।

प्ररूप –फ

 

[नियम 20 का उपनियम (1) देखिए]

कर की प्राप्ति का रजिस्टर

अनुक्रमांक

(प्राप्ति का दिनांक

रजिस्ट्रीकरण चिन्ह

यान का वर्ग

यान के स्वामी का नाम

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

जमा की गई रकम

संदाय का विवरण

कालावधि जिसके लिए कर जमा किया गया है

टिप्पणियाँ

(6)

(7)

(8)

(9)

 

टिप्पण :- (1) यह रजिस्टर कराधान लिपिक के द्वारा बनाए रखा जाएगा ।

(2) प्राप्त की गई घोषणाओं के समस्त प्ररूप और एक दिन के सबूतों को रजिस्टरों में अभिलिखित किया जाएगा ।

प्ररूप –ब-1

[नियम 20 का उपनियम (2) देखिए]

जीवन–काल की की मांग और वसूली का रजिस्टर

अनुक्रमांक

रजिस्ट्रीकरण क्रमांक

यान का वर्ग

स्वामी का नाम

लदान रहित भार (कि.ग्रा.)

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

जीवन काल कर संदाय का दिनांक

संदत्त की गई रकम

संदाय का विवरण(बैंक ड्राफट /चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक)

संदत्त की गई प्रमाण-पत्र का शास्ति तथा क्रमांक तथा ब्याज

संदत्त की गई प्रमाण-पत्र का शास्ति तथा क्रमांक तथा दिनांक

(6)

(7)

(8)

(9)

(10)

 

कराधान लिपिक के हस्ताक्षर

कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

शोध्य यदि कोई हो

की गई वापसी यदि कोई हो

टिप्पणियाँ

(11)

(12)

(13)

(14)

(15)

 

प्ररूप –ब-2

[नियम 20 का उपनियम (2) देखिए]

मासिक आधार पर कर का संदाय करने वाले लोक सेवा

यानों का मांग और वसूली का रजिस्टर

(मोटर केब एवं शहरी बसों से भिन्न लोक सेवा यानों के लिए)

1. यान का रजिस्ट्रीकरण क्रमांक…………..……………………………………………….

2. प्रथम रजिस्ट्रीकरण/मध्यप्रदेश में आने का दिनांक……………………………………….

3. स्वामी/अनुज्ञा पत्र घारक का नाम तथा पता……………………………………………

4. बैठने की क्षमता…………………………………………………………………………

वित्तीय वर्ष

अनुज्ञा पत्र क्रमांक प्रवर्ग और विधिमान्यता

मार्ग और प्रतिदिन की अनुज्ञात दूरी

मासिक मांग

(1)

(2)

(3)

(4)

संदाय के ब्यौरे अप्रैल

संदत्त की गई रकम--

बैंक ड्राफट /कोषलय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

(5)

(6)

(7)

संदाय के ब्यौरे मई

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(8)

(9)

(10)

संदाय के ब्यौरे जून

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(11)

(12)

(13)

 

संदाय के ब्यौरे जुलाई

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(14)

(15)

(16)

 

संदाय के ब्यौरे अगस्त

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(17)

(18)

(19)

 

संदाय के ब्यौरे सितम्बर

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(20)

(21)

(22)

 

संदाय के ब्यौरे अक्टूबर

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(23)

(24)

(25)

 

संदाय के ब्यौरे नवम्बर

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(26)

(27)

(28)

 

संदाय के ब्यौरे दिसम्बर

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(29)

(30)

(31)

 

संदाय के ब्यौरे जनवरी

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(32)

(33)

(34)

 

संदाय के ब्यौरे फरवरी

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(35)

(36)

(37)

 

संदाय के ब्यौरे मार्च

संदत्त की गई रकम--

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

बैंक ड्राफ्ट /कोषालय चालान/ रसीद क्रमांक तथा दिनांक

कराधान प्राधिकारी के आद्याक्षर

(38)

(39)

(40)

 

वर्ष के अंत में कर का अतिशेष

अनापत्ति प्रमाण पत्र (एन.ओ.सी.) के ब्यौरे यदि अभिप्राप्त किया हो

टिप्पणियाँ

(41)

(42)

(43)

 

प्ररूप –ब-3

[नियम 20 का उपनियम (2) देखिए]

कर से छूट प्राप्त मोटरयानों के संबंध में कर का मांग और वसूली का रजिस्टर

अनुक्रमाक

रजिस्ट्रीकरण क्रमांक

रजिस्ट्रीकरण का दिनांक

स्वामी का नाम और पता

यान का

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

 

उस अधिसूचना का क्रमांक तथा दिनांक जिसके अधीन कर से छूट स्वीकृत की गई

यदि कर से छूट प्राप्ति वापस ली गई हो तो उस अधिसूचना का क्रमांक तथा दिनांक

कर लिपिक के हस्ताक्षर

कर प्राधिकारी हस्ताक्षर

टिप्पणियाँ

(6)

(7)

(8)

(9)

(10)

 

प्ररूप –ब-4

[नियम 20 का उपनियम (2) देखिए]

जीवन-काल कर यानों, मंजिली गाडियों और ठेका गाडियों, और

कर से छूट प्राप्त यानों से भिन्न मोटरयानों के संबंध में

कर की मांग और वसूली का रजिस्टर

1. रजिस्ट्रीकरण क्रमांक………………………………………………………………….

2. प्रथम रजिस्ट्रीकरण मध्यप्रदेश में आगमन का दिनांक…………………….…………….

3. स्वामी का नाम और पता…………………… ……………………… ……………..

4. सकल यान भार/लदान रहित भार/बैठने की क्षमता……………………………………

5. तिमाही कर की दर………………………………………………………………………

प्रथम तिमाही

वित्तीय वर्ष

पूर्व की बकाया यदि कोई हो

संदत्त की गई रकम

 

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

संदाय के ब्यौरे बैंक ड्राफट/ चालान/रसीद क्रमांक और दिनांक

टोकन क्रमांक

अतिशेष

कर लिपिक और कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

(1)

(2)

(3)

(4)

(5)

(6)

(7)

 

द्वितीय तिमाहीं

संदत्त की गई रकम

 

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

संदाय के ब्यौरे बैंक ड्रॉफ्ट/चालान/रसीद क्रमांक और दिनांक

टोकन क्रमांक

अतिशेष

कर लिपिक और कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

(8)

(9)

(10)

(11)

(12)

 

तृतीय तिमाहीं

संदत्त की गई रकम

 

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

संदाय के ब्यौरे बैंक ड्रॉफ्ट/चालान/रसीद क्रमांक और दिनांक

टोकन क्रमांक

अतिशेष

कर लिपिक और कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

(13)

(14)

(15)

(16)

(17)

 

चतुर्थ तिमाहीं

संदत्त की गई रकम

 

(एक) कर

 

(दो) शास्ति

 

(तीन) ब्याज

संदाय के ब्यौरे बैंक ड्रॉफ्ट/चालान/रसीद क्रमांक और दिनांक

टोकन क्रमांक

अतिशेष

कर लिपिक और कराधान प्राधिकारी के हस्ताक्षर

(18)

(19)

(20)

(21)

(22)

प्ररूप-भ

[नियम 17 का उपनियम 5 देखिए]

अभिग्रहीत यान के अधिहरण के लिए कार्यवाही के

प्रारम्भ के बारे में मजिस्ट्रेट को सूचना

…………………….द्वारा

तारीख ……….…………

अधिकारी का नाम तथा इसका पदाभिधान

प्रति,

न्यायिक मजिस्ट्रेट

1. अधिहरित किए जाने के लिए प्रस्तावित मोटरयान का विवरण

2. उन परिस्थितियों का संक्षिप्त विवरण जिनके अधीन अभिग्रहीत किया गया था ।

3. उस यान के जिसका अधिहरित किया जाना प्रस्तावित है स्वामी का नाम तथा पता।

4. उस व्यक्ति का नाम जिसके कब्जे से यान अभिग्रहीत किया गया था

5. अभिग्रहण की तारीख समय तथा स्थान ।

6. उस अधिकारी का नाम जिसने यान का अभिग्रहण किया ।

7. अभिग्रहीत यान का अनुमानित मूल्य ।

8. उस अपराध की विशिष्टियाँ जिनके कारण अभिग्रहण किया गया था ।

9. अभिग्रहीत यान के अधिहरण की कार्यवाहियों के प्रारंभ कीतारीख ।

………………………..………….

प्राधिकारी के हस्ताक्षर मुद्रा सहित

मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991

के अन्तर्गत अधिसूचनाएँ

नियम 8:

अधिसूचना क्र. एफ. 8-4-93-आठ, दिनांक 27 अक्टूबर 1993 –-मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम 1991 के नियम 8 और केंन्द्रीय मोटरयान नियम, 1989 के नियम 87 के साथ पठित मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान अधिनियम,1991 (क्रमांक 25 सन् 1991) की धारा 2 के खंड (क) द्वारा प्रदत्त शक्तियों को प्रयोग में लाते हुए, राज्य सरकार, एतद्द्वारा अन्य राज्यों/ संघ राज्यक्षेत्रों के समस्त ऐसे परिवहन प्राधिकारियों को, जो मोटरयान अधिनियम 1988 तथा उसके अधीन बनाए गए नियमों के अधीन नेशनल परमिट मंजूर करने के लिए प्राधिकृत है, उनके राज्य/संघ राज्य क्षेत्र में रजिस्ट्रीकृत तथा नेशनल परमिट के अंतर्गत आने वाले और विशिष्टत: किसी प्राधिकार से मध्यप्रदेश में चलने वाले मालयानों के बाबत् उनकी अधिकारिता के भीतर कराधान प्राधिकारी के रूप में नियुक्त करती है।

[मध्यप्रदेश राजपत्र (असाधारण) दिनां27-10-1993 Iपृष्ठ 73 पर प्रकाशित ]

नियम 13:

अधिसूचना क. एफ. 22-33-93 आठ, दिनांक 16 अप्रेल 1993— चूँकि मध्यप्रदेश राज्य के विभिन्न कस्बों के मास दिसम्बर, 1992 के दौरान दंड प्रक्रिया संहिता, 1973 (क्रमांक 2 सन् 1974) की धारा 144 के अधीन प्रतिबंधात्मक आदेश लागू किये जाने के कारण मंजिली गाड़ियों के स्वामी अपनी बसें प्रचालित नहीं कर सके;

और चूँकि ऐसे स्वामियों द्वारा मध्यप्रदेश मोटरयान कराधान नियम, 1991 के नियम 13 अधीन कर वापसी का दावा करने के लिए प्रस्तुत की जानें वाली सूचना निर्धारित समयावधि में प्रस्तुत की जा सकी ;

अतएव प्रभावित मार्गो पर यानों का प्रचालन न किये जाने की कालावधि के लिए मंजिली गाड़ियों के स्वामियों को कर की वापसी के दावे करने के लिये योग्य बनाने की दृष्टि से राज्य सरकार कथित नियमों के नियम 13 के उपनियम (3) के परन्तुक द्वारा प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए, एतद्द्वारा कथित प्रतिबन्धात्मक आदेशों के कारण यानों का प्रचालन न किये जाने की सूचना प्रस्तुत की अवधि को दिनांक 26 अप्रैल, 1993 तक बढ़ाती है।

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